विषयसूची
इला कितने साल की थी?
इसे सुनेंरोकेंछब्बीस साल की इला गुजरात के सूरत जिले में रहती हैं। उनका बचपन अमरेली जिले के राजकोट गाँव में अपने नाना के यहाँ बीता। सावन जल्दी अइयो रे! खाना, दूसरों के बाल बनाना, फ़र्श बुहारना, कपड़े धोना, तरकारी काटना यहाँ तक कि तख्ती पर लिखना भी।
इला क्या काम करती थी?
इसे सुनेंरोकेंप्रश्न 5 इला अपने पैरों से कौन से काम कर लेती थीं? उत्तर 5 दाल- भात खाना, बाल बनाना, फर्श बुहारना, कपड़े धोना, तरकारी काटना, तख्ती लिखना आदि ।
3 इला कहाँ की रहने वाली थी?
इसे सुनेंरोकेंउत्तर इला सचानी गुजरात के सूरत जिले में रहती है।
इला ने अपने हाथों की जीत को क्या माना?
इसे सुनेंरोकें(iv) इला के विश्वास और धैर्य ने को भी झुठला दिया। (५) इला ने अपने हाथों की इस ज़िद को एक …… माना। (i) दोनों अँगूठों के बीच सुई थामकर कच्चा . …..
इला कौन सी परीक्षा पास नहीं कर पाई थी?
इसे सुनेंरोकेंइला दसवीं की परीक्षा पास नहीं कर पाई क्योंकि लिखने की गति धीमी होने से वह अपना प्रश्न पत्र पूरा नहीं कर पाई थी।
इला को क्या परेशानी थी?
इसे सुनेंरोकेंउनका चिंता करना कुछ हद तक सही था, कुछ हद तक नहीं। जहाँ तक उसकी सुरक्षा संबंधी चिंता थी, वह तो सही था लेकिन उसकी अपंगता को लेकर चिंतित होना सही नहीं था क्योंकि इला कोई भी काम इतनी फुर्ती से करतीं थी कि देखने वाले दंग रह जाते थे।
इला का पूरा नाम क्या था?
इसे सुनेंरोकेंउत्तर: इला का पूरा नाम इला सचानी है । प्रश्न 2: इला सचानी कहां रहती है। उत्तर: इला सचानी गुजरात के सूरत जिले में रहती है।
कँवरसिंह को अपनी नौकरी क्यों अच्छी लगती है?
इसे सुनेंरोकेंउत्तर: कँवरसिंह को अपनी नौकरी बहुत अच्छी लगती है क्योंकि इस नौकरी की बदौलत उसे मनीआर्डर पहुँचाने पर, रिजल्ट या नियुक्ति पत्र पहुँचाने पर, पेंशन पहुँचाने पर लोगों का खुशी भरा चेहरा देखने को मिलता है।
हिलाने कौन सी कक्षा तक पढ़ाई की थी?
इसे सुनेंरोकेंAnswer: इला पढ़ते हुए दसवीं कक्षा तक पहुँची।
इला या इला जैसी कोई लड़की यदि तुम्हारी कक्षा में दाखिला लेती तो तुम्हारे मन में कौन कौन से प्रश्न उठते?
प्रश्न 1. इला या इला जैसी कोई लड़की यदि तुम्हारी कक्षा में दाखिला लेती तो तुम्हारे मन में कौन-कौन-से प्रश्न उठते?…
- परीक्षा के लिए उसने अच्छी तरह तैयारी नहीं की थी।
- वह परीक्षा पास करना नहीं चाहती थी।
- लिखने की गति धीमी होने के कारण वह प्रश्न-पत्र पूरे नहीं कर पाती थी।
- उसको पढ़ाई करना कभी अच्छा लगा ही नहीं।
इला के बारे में पढ़कर आपके मन में क्या प्रभाव हुआ?
इसे सुनेंरोकेंइला की कशीदाकारी में अनेक प्रान्तों की कशीदाकारी की झलक मिलती है। जैसे- लखनऊ, बंगाल, काठियावाड़ी टाँके इत्यादि। पत्तियों को उसने चिकनकारी से सजाया था, डंडियों को कांथा से उभारा था। अत: उसने पारम्परिक डिजाइनों में नवीनता का मिश्रण किया था।
जहां चाह वहां राह का क्या अर्थ है class 5?
इसे सुनेंरोकेंइस लेख को पढ़ने के बाद हमारी सोच में परिवर्तन आया कि हमें हर अपाहिज को कमज़ोर और लाचार नहीं समझाना चाहिए। वे भी हर काम करने में सक्षम रहते हैं। सिर्फ उन्हें थोड़ी कोशिश करनी चाहिए और जीवन के प्रति सकारात्मक विचार रखने चाहिए। इस पाठ से हमें यह भी शिक्षा मिलती है कि अगर हिम्मत हो तो इंसान कुछ भी कर सकता है।
इला कहाँ की रहने वाली थी?
इसे सुनेंरोकेंप्रश्न इला सचानी कहां रहती है। उत्तर इला सचानी गुजरात के सूरत जिले में रहती है।
विषयसूची
- 1 जहां चाह वहां राह का क्या अर्थ है क्लास फिफ्थ?
- 2 इला या इला जैसी कोई लड़की यदि तुम्हारी कक्षा में दाखिला लेती तो तुम्हारे मन में कौन कौन से प्रश्न उठते?
- 3 जहां चाह वहां राह के लेखक कौन है?
- 4 इला को स्कूल में दाखिला लेते समय क्या क्या समस्या आई?
- 5 इला सचानी कौन है?
- 6 इला दसवीं की परीक्षा पास क्यों नहीं कर सकी?
- 7 इला सचानी क्या काम करती है?
- 8 अल्लाह की कशीदाकारी में क्या खास बात थी?
जहां चाह वहां राह का क्या अर्थ है क्लास फिफ्थ?
इसे सुनेंरोकेंक्या इला अपने पैर के अंगूठे से कुछ भी करना सीख पाती, अगर उसके आस-पास के लोग उसके लिए सभी काम स्वयं कर देते और उसको कुछ करने का मौका नहीं देते? उत्तर: यदि इला के आस-पास के लोग उसके लिए सभी काम स्वयं कर देते और उसको कुछ करने का मौका नहीं देते। तो वह अपने पैर के अँगूठे से कुछ भी करना सीख नहीं पाती।
जहां चाह वहां राह इस पाठ से क्या सीख मिलती है?
इसे सुनेंरोकेंइस पाठ से हमें यह भी शिक्षा मिलती है कि अगर हिम्मत हो तो इंसान कुछ भी कर सकता है। मुश्किल के समय में हिम्मत नहीं हारनी चाहिए। हमें तो भगवान ने संपूर्ण बनाया है फिर हम क्यों हार मान रहे हैं।
इला या इला जैसी कोई लड़की यदि तुम्हारी कक्षा में दाखिला लेती तो तुम्हारे मन में कौन कौन से प्रश्न उठते?
इसे सुनेंरोकेंप्रश्न 1. इला या इला जैसी कोई लड़की यदि तुम्हारी कक्षा में दाखिला लेती तो तुम्हारे मन में कौन-कौन से प्रश्न उठते? उत्तर- यदि इला जैसी कोई लड़की हमारी कक्षा में दाखिला लेती, तो हमारे मन में प्रश्न उठते के ते काम कैसे करती होगी? इसे किन-किन कठिनाइयों का सामना करना पड़ता होगा?
इला सचानी क्या काम करती हैं?
इसे सुनेंरोकेंइला सचानी क्या काम करती है? Ans – दाल- भात खाना, बाल बनाना, फर्श बुहारना, कपड़े धोना, तरकारी काटना, तख्ती लिखना आदि ।
जहां चाह वहां राह के लेखक कौन है?
इसे सुनेंरोकेंजहाँ चाह वहाँ राह – लेख – शेखर कुमार रंजन
इला ने पैरों से कौन कौन से काम सीखे?
इसे सुनेंरोकेंइला ने काठियावाड़ी टाँकों के साथ-साथ और कई टाँके भी इस्तेमाल किए थे। पत्तियों को चिकनकारी से सजाया था। डंडियों को कांथा से उभारा था। पशु-पक्षियों की ज्यामितीय आकृतियों को कसूती और जंजीर से उठा रखा था।
इला को स्कूल में दाखिला लेते समय क्या क्या समस्या आई?
इसे सुनेंरोकेंइला दसवीं की परीक्षा पास नहीं कर सकी, क्योंकि … -परीक्षा के लिए उसने अच्छी तरह तैयारी नहीं की थी। -वह परीक्षा पास करना नहीं चाहती थी। -लिखने की गति धीमी होने के कारण वह प्रश्न-पत्र पूरे नहीं कर पाती थी।
समय रहते इला को कौन सी जानकारी नहीं मिली इससे उसे क्या नुकसान हुआ?
इसे सुनेंरोकेंइला को यह मालूम न था कि परीक्षा के लिए उसे अतिरिक्त समय मिल सकता है। उसे ऐसे व्यक्ति की सुविधा भी मिल सकती थी जो परीक्षा में उसके लिए लिखने का काम कर सके। यह जानकारी इला को समय रहते मिल जाती तो कितना 42 2021-22 Page 3 अच्छा रहता। उसे इस बात का दुख है।
इला सचानी कौन है?
इसे सुनेंरोकेंसजाया था इला सचानी ने। इला की हिम्मत की अनूठी मिसाल हैं ये कढ़ाई के नमूने। छब्बीस साल की इला गुजरात के सूरत जिले में रहती हैं। उनका बचपन अमरेली जिले के राजकोट गाँव में अपने नाना के यहाँ बीता।
3 इला कहाँ की रहने वाली थी?
इसे सुनेंरोकेंउत्तर इला सचानी गुजरात के सूरत जिले में रहती है।
इला दसवीं की परीक्षा पास क्यों नहीं कर सकी?
इसे सुनेंरोकेंइला दसवीं की परीक्षा पास नहीं कर सकी, क्योंकि… परीक्षा के लिए उसने अच्छी तरह तैयारी नहीं की थी। वह परीक्षा पास करना नहीं चाहती थी। लिखने की गति धीमी होने के कारण वह प्रश्न-पत्र पूरे नहीं कर पाती थी।
इला को स्कूल में दाखिला लेने में परेशानी क्यों हुई?
इला सचानी क्या काम करती है?
कौन पाठ के प्रश्न उत्तर?
कौन? कविता का सारांश
- किसने बटन हमारे कुतरे? किसने स्याही को बिखराया? कौन चट कर गया दुबक कर घर-भर में अनाज बिखराया?
- कभी कुतर जाता है चप्पल कभी कुतर जूता है जातो, कभी खलीता पर बन आती। अनजाने पैसा गिर जाता
- कुतर-कुतर कर कागज़ सारे रद्दी से घर को भर जाता। कौन कबाड़ी है जो कूड़ा।
- रोज़ रात-भर जगता रहता
अल्लाह की कशीदाकारी में क्या खास बात थी?
इसे सुनेंरोकें(2) इला की कशीदाकारी में खास बात क्या थी? Ans :- इला की कशीदाकारी में अनेक प्रान्तों की कशीदाकारी की झलक मिलती है। जैसे- लखनऊ, बंगाल, काठियावाड़ी टाँके इत्यादि। पत्तियों को उसने चिकनकारी से सजाया था, डंडियों को कांथा से उभारा था।
कबाड़ का हिसाब?
इसे सुनेंरोकें(क) कबाड़ी पुराने अखबार, कॉपियाँ, किताबें, लोहा, प्लास्टिक इत्यादि चीज़ें खरीदते हैं। (ख) कबाड़ी घरों से सामान ले जाकर फैक्टरियों में बेच देते हैं। वहाँ इन्हें रिसाइकिल करके फिर से चीज़ें बनाई जाती हैं। (ग) पुराना अखबार दस रुपये किलो और रद्दी सात रुपये किलो के हिसाब से बिकते हैं।