आयुर्वेद में सिरदर्द का इलाज कैसे करें? - aayurved mein siradard ka ilaaj kaise karen?

आयुर्वेद में सिरदर्द का इलाज कैसे करें? - aayurved mein siradard ka ilaaj kaise karen?

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तुलसी का काढा सिर दर्द दूर करने में काफी फायदेमंद है. Image : shutterstock

How To Get Rid Of Headache : भागदौड़ भरी जिंदगी में सिरदर्द (Headache) की समस्‍या काफी आम है. कई लोगों को आंखों में परेशानी और एसिडिटी की वजह से सिरदर्द की समस्या हो सकती हैं. वहीं कुछ लोगों को स्‍ट्रेस या थकावट के कारण भी सिर में दर्द होता है. ऐसे में अगर आपको कोई बड़ा मेडिकल इश्‍यू नहीं है तो आप आयुर्वेदिक उपायों (Ayurvedic Remedies) की मदद से सिरदर्द का इलाज खुद भी कर सकते हैं. यहां हम आपको पारंपरिक और घरेलू उपाय बता रहे हैं जिनकी मदद से आप बिना दवाओं के सेवन के सिर दर्द की समस्‍या से आराम पा सकते हैं.

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  • News18Hindi
  • Last Updated : December 10, 2021, 14:29 IST

    How To Get Rid Of Headache : सिर दर्द (Headache) की समस्‍या अगर आपको बहुत अधिक परेशान कर रही है और आप दवाओं के सेवन से बचना चाहते हैं तो आप कुछ आयुर्वेदिक नुस्‍खों की मदद से सिर दर्द का इलाज कर सकते हैं. ओनलीमाईहेल्‍थ के अनुसार, ये नुस्खे पूरी तरह से नेचुरल चीजों से बने होते है जिस वजह से इनका साइड इफेक्‍ट नहीं होता. इसके अलावा यह आपके साइनस की समस्‍या, डस्‍ट एलर्जी, खांसी, जुकाम से भी राहत दिलाता है. तो आइए जानते हैं कि आप आयुर्वेद (Ayurvedic Remedies) की मदद से किस तरह अपने सिर दर्द को ठीक सकते हैं.

    आयुर्वेद में सिरदर्द का इलाज (Ayurvedic remedies for headache)

    1.पुदीना का उपयोग

    अगर आपको साइनस, एलर्जी या फिर सर्दी-जुकाम की वजह से सिर में दर्द होता है तो आप पुदीने (Mint) का इस्तेमाल कर इसे ठीक कर सकते हैं. इसके लिए आप पुदीने का अर्क या तेल का इस्‍तेमाल कर सकते हैं. आप पुदीने के तेल से अपने सिर की मालिश करें. आप चाहें तो पुदीने की पत्तियों को पीसकर इसका लेप माथे पर लगा सकते हैं.

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    2.तुलसी की पत्तियां

    अगर आपको गैस, सर्दी जुकाम की वजह से सिर दर्द हो रहा है तो आप तुरंत तुलसी (Tulsi) की पत्तियों से बनी चाय का सेवन करें. आप इसे काढा बनाकर भी पी सकते हैं.

    3.पिपली का प्रयोग

    अगर आपको एसिडिटी या फिर खांसी-जुकाम की वजह से सिर दर्द है तो आप पिपली (Pipli) का इस्तेमाल कर सकते हैं. पिपली के इस्तेमाल से शरीर में मौजूद विषाक्त पदार्थों को भी दूर किया जा सकता है.

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    4.गिलोय का प्रयोग

    अगर आपको एसिडिटी की वजह से सिरदर्द होता है तो आप गिलोय (Giloy) का जूस का सेवन करें. आप इसे पानी में मिलाकर पी सकते हैं. इससे एसिडिटी से राहत मिलेगी और सिरदर्द से आराम मिलेगा.

    5.त्रिफला का सेवन

    अगर आपको आंखों में परेशानी की वजह से सिर में दर्द होता है तो आप त्रिफला (Triphala) चुर्ण का सेवन कर सिरदर्द की समस्‍या को दूर कर सकते हैँ. सिरदर्द होने पर आप ब्राह्मी, लौंग, सौंफ, अदरक, मिश्री जैसी चीजों का भी सेवन कर सिरदर्द से आराम पा सकते हैं.

    इन बातों का भी रखें ख्‍याल

    -सिरदर्द होने पर मसालेदार चीजों से परहेज करें.

    -स्ट्रेस से दूर रहें.

    -रोजाना एक्सरसाइज करें.

    -फाइबरयुक्त खाएं.

    -आखों का चेकअप कराते रहें.

    लेकिन अगर आपका सिर दर्द 24 घंटे से अधिक देर तक नहीं गया है तो आपको डॉक्‍टर की सलाह लेनी चाहिए.

    (Disclaimer: इस लेख में दी गई जानकारियां और सूचनाएं सामान्य मान्यताओं पर आधारित हैं. Hindi news18 इनकी पुष्टि नहीं करता है. इन पर अमल करने से पहले संबंधित विशेषज्ञ से संपर्क करें.)

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    Tags: Ayurvedic, Health benefit, Lifestyle

    FIRST PUBLISHED : December 10, 2021, 14:29 IST

    Updated on: June 04, 2022 10:46 IST

    कैसे पाएं सिरदर्द की समस्याओं से छुटकारा? जानिए स्वामी रामदेव से अचूक आयुर्वेदिक उपाय और योगाभ्यास

    47 परसेंट लोग काम से छुट्टी के लिए वजह सिरदर्द-माइग्रेन को बताते हैं। उनका सिरदर्द कई घंटो तक बना रहता है। जानिए स्वामी रामदेव से इसका आयुर्वेदिक उपाय और योगासन।

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    सिरदर्द आम रोगों में से एक है। यह रोग किसी भी प्रकृति के व्यक्ति को किसी भी कारण से हो सकता है। लेकिन क्या आपने कभी ये सोचा है कि बार-बार सिरदर्द होने के पीछे कारण क्या है? क्या सिर दर्द से छुटकारा पाया जा सकता है?  जीवनशैली और खान-पान सिर दर्द होने का सबसे बड़ा कारण बन चुका है, कम समय में ज्यादा पाने की इच्छा, खराब लाइफस्टाइल और टेक्नोलॉजी का ज्यादा इस्तेमाल सिरदर्द को जन्म दे रहा है। आम तौर पर लोग सिर दर्द से राहत पाने के लिए सबसे पहले घरेलू नुस्ख़ों (Home remedies for headache) को ही अपनाते हैं जिससे जल्दी और आसानी से आराम मिल जाये।

    आयुर्वेद में सिरदर्द का इलाज कैसे करें? - aayurved mein siradard ka ilaaj kaise karen?

    सिर दर्द के घरेलू नुस्ख़े असरदार भी होते है और इनका सेवन अगर सही तरीके से और संतुलित मात्रा में किया जाय तो इनका साइड इफेक्ट भी कम होता है और सिर दर्द से छुटकारा पाने में आसानी होती है। इसलिए लोग डॉक्टर के पास जाने से पहले सिर दर्द  से छुटकारा या आराम पाने के लिए घरेलू नुस्ख़े या आयुर्वेदिक उपचारों का सहारा लेते हैं।

    Contents

    • 1 सिर दर्द क्या है? (What is Headache?)
    • 2 सिर दर्द होने के कारण (Causes of Headache)
    • 3 बीमारियों के कारण होने वाला सिर दर्द : 
    • 4 सिर दर्द होने के लक्षण (Symptoms of Headache)
      • 4.1 प्राथमिक सिरदर्द : 
      • 4.2 माध्यमिक सिरदर्द (Secondary Headache)
    • 5 सिर दर्द को रोकने के उपाय (How to Prevent Headache)
    • 6 सिर दर्द से छुटकारा पाने के घरेलू नुस्ख़ें (Home Remedies for Headache in Hindi)
      • 6.1 गर्म पानी में पैर डुबाने से सिर दर्द से मिले राहत (Socking Feet in hot Water Treatment for Headache in Hindi)
      • 6.2 बर्फ की सिकाई सिर दर्द से दिलाये राहत (Ice Treatment Helps to Ease Headache in Hindi)
      • 6.3 तेल से चंपी सिरदर्द से दिलाये राहत (Oil Massage Helps to Relieve from Headache in Hindi)
      • 6.4 अदरक के उपचार से सिरदर्द से मिले राहत (Ginger Benefits to Treat Headache in Hindi)
      • 6.5 पुदीना सिरदर्द में फायदेमंद (Mint Helps to Control Headache in Hindi)
      • 6.6 तुलसी सिरदर्द से दिलाये राहत (Tulsi Benefits for Headache in Hindi)
      • 6.7 लैंवेडर सिर दर्द से दिलाये आराम (Lavender Help to Ease Headache in Hindi)
      • 6.8 नींबू सिरदर्द में फायदेमंद (Lemon Help to Relieve Headache in Hindi)
      • 6.9 बादाम तेल सिरदर्द से दिलाये आराम (Almond Oil Treatment for Headache in Hindi)
      • 6.10 लौंग का पेस्ट सिरदर्द से दिलाये राहत (Clove Help to Get Relief from Headache in Hindi)
      • 6.11 राई का पेस्ट सिरदर्द में लाभकारी (Mustard Paste Massage Help to Treat Headache in Hindi)
      • 6.12 नारियल का मिश्रण सिरदर्द में फायदेमंद (Coconut is Beneficial in Headache in Hindi)
    • 7 डॉक्टर के पास कब जाना चाहिए? (When to See a Doctor?)

    सिर दर्द क्या है? (What is Headache?)

    सिर में किसी कारणवश दर्द होना सिर दर्द कहलाता है। सिर में दर्द जब हल्का-हल्का शुरु होता है और धीरे-धीरे बढ़कर जब असहनीय अवस्था में पहुँच जाता है तब उस दर्द को सिर दर्द समझना चाहिए। सिर दर्द सिर के किसी भी हिस्से में होने वाला दर्द है। सिर दर्द सिर के एक या दोनों तरफ हो सकते हैं। यह सिर में एक बिन्दु से शुरु होकर पूरे सिर में फैल जाता है या किसी एक निश्चित स्थान पर होने लगता है। यह दर्द सिर में सनसनी पैदा करने वाले तेज दर्द या हल्के दर्द के रुप में दिखाई दे सकता है, सिर दर्द धीरे-धीरे या अचानक उत्पन्न हो सकते हैं और एक घण्टे से लेकर कई दिनों तक रह सकता है। सिर दर्द से छुटकारा पाने के लिए घरेलू नुस्खों को अपना सकते हैं।

    और पढ़े: सिर दर्द में पेपरमिंट के फायदे

    सिर दर्द होने के कारण (Causes of Headache)

    सिर दर्द आम बीमारी तो है लेकिन इसके होने के पीछे बहुत सारे कारण होते हैं। तो सिर दर्द होने के कारण को सरल तरीके से समझने के लिए चलिये इसको दो भागों में विभाजित करते हैं, एक आम कारण और दूसरा किसी बीमारी के होने के कारण।

    सिर दर्द होने के आम कारणों में है-

    हमारी अस्वस्थ आदतें और खान-पान में अनियमितता ही सिरदर्द होने के प्रमुख कारण होते हैं-

    1- आहार के कारण

    बहुत मिर्च और मसालेदार खाना खाने से, नाश्ता, लंच या डिनर में से कुछ खा न पाना यानि अत्यधिक देर तक भूखे रहने से या जंक फूड खाने से पेट में जलन व गैस बनने की समस्या होती है। ज्यादा देर तक खाली पेट रहने से अधिक गैस बनती है उन्हें सिर दर्द की परेशानी बढ़ाता है, ऐसे खाने से बचना चाहिए जो एसिड बनाते हो, खाना खाने के बाद तुरन्त लेट जाने से गैस्टिक समस्या होती है। सिर दर्द से छुटकारा पाने के लिए डायट पर ध्यान रखना जरूरी होता है।

    2- खुशबू (Perfume) के कारण

    तेज महक या किसी भी खुशबु से एलर्जी हो सकती है, जिस प्रकार के खुशबू से परेशानी हो उससे दूर रहने की कोशिश करनी चाहिए। सिर दर्द से छुटकारा पाने के लिए खुशबू पर भी ध्यान रखना जरूरी होता है।

    3- कैफीन का ओवरडोज

    कुछ खाद्द पदार्थों के सेवन करने से शरीर में कैफीन की मात्रा बढ़ जाती है जो सिर दर्द का कारण बन जाता है, जैसे-कोलड्रिंक, कॉफी, लिकर आदि। इसके अलावा जिन द्रव्यों में मोनो सोडियम ग्ल्यूमेट हो, जैसे प्रोसेस्ड मीट, फर्मेन्टड फूड, रेड वाईन, सिट्रस फ्रूट आदि का सेवन ज्यादा करने से सिर दर्द बढ़ जाता है। सिर दर्द से छुटकारा पाने के लिए कैफीन के मात्रा पर ध्यान रखना जरूरी होता है।

    4- ज्यादा ठण्डे आहार का सेवन

    ज्यादा ठण्डे पदार्थों के सेवन से भी सिर दर्द की उत्पत्ति हो सकती है। ज्यादा ठण्डे पदार्थों के सेवन से शरीर में रक्त का प्रवाह ठीक प्रकार से नहीं हो पाता है। ठण्ड के कारण सिर की नसें सिकुड़ जाती हैं जो सिर दर्द होने का कारण बन जाता है। सिर दर्द से छुटकारा पाने के लिए ज्यादा ठंडा खाना खाना नहीं चाहिए। 

     

    आयुर्वेद में सिरदर्द का इलाज कैसे करें? - aayurved mein siradard ka ilaaj kaise karen?

    5- कम मात्रा में पानी का सेवन

    जब शरीर में पानी की मात्रा कम हो जाती है तो शरीर के अन्दर के विषाक्त तत्व शरीर से बाहर नहीं निकल पाते हैं जिसके कारण सिर दर्द होना शुरू होता है। सिर दर्द से छुटकारा पाने के लिए पर्याप्त मात्रा में पानी पीनी चाहिए। 

    6- गर्भनिरोधक गोली लेने से

    गर्भनिरोधक गोली लेने से शरीर के अन्तर्गत हारर्मोन्स में बदलाव आने से सिर पर दर्द होता है। सिर दर्द से छुटकारा पाने के लिए इन गोलियों के कारण हुए साइड इफेक्ट पर ध्यान देनी चाहिए। 

    और पढ़े – सिर के दर्द में फायदेमंद गम्भारी

    बीमारियों के कारण होने वाला सिर दर्द : 

    सिर दर्द की समस्या कुछ लोगों को बार-बार तंग करती है। आमतौर पर सिरदर्द दो तरह का होता है, प्राइमरी और सेकेंडरी। प्राइमरी में सिर दर्द की असल वजह पता नहीं चलती। वही सेकेंडरी में दर्द किसी शारीरिक समस्या की वजह से होता है। अगर इस तरह के दर्द को नजर अंदाज कर दिया जाएं तो इससे कोई बड़ी बीमारी हो सकती है। इसलिए बेहतर होगा कि इसके संकेतो को अच्छे से पहचान लिया जाएं। आज हम आपको कुछ ऐसे ही संकेतों के बारे में बताएंगे, जिनकी वजह से सिर दर्द हो सकता है।

    • स्ट्रोक- अचानक सिर में दर्द होने लगे और शरीर का एक हिस्सा काम करना बंद कर दे तो यह स्ट्रोक के संकेत हो सकते है।
    • ब्रेन ट्यूमर- लगातार बिना किसी वजह से सिर दर्द होने लगे और आसानी से ठीक होने का नाम ही न लें तो यह ब्रेन ट्यूमर  का संकेत हो सकता है। इसलिए ऐसे दर्द को नजर अंदाज न करें बल्कि तुरंत डॉक्टर की सलाह लें।
    • ब्रेन इंजरी- अगर आपके सिर में अक्सर दर्द रहता है तो ब्रेन में किसी तरह की इंजरी होने के कारण इस प्रकार का सिर दर्द हो सकता है।
    • फीवर- बुखार होने पर कफ और कान में दर्द के साथ सिर भी दर्द होने लगता है। यह बुखार की दवाई से आसानी से ठीक हो जाता है।
    • दांत या कान का इंफेक्शन-सिर के आसपास की जगह जैसे कान या दांत में इंफेक्शन होने से भी सिर दर्द हो सकता है।
    • स्ट्रेस- लगातार तनाव में रहने से शरीर का ब्लड सर्कुलेशन बढ़ जाता है। जिसका दिमाग पर असर पड़ता और तेज दर्द होने लगता है।
    • हाई बीपी- हाई बीपी की समस्या होने पर छाती और सिर दर्द की शिकायत रहती है। अगर आपका भी अचानक से तेज सिर दर्द होने लगे तो अपना बीपी जरूर चैक करवाएं।
    • आँखों की समस्या- जब आंखों की रोशनी कम हो जाती है तो हमे चीजों को देखने में दिक्कत होती है। जिस वजह से सिर दर्द होने लगता है। अगर आपके साथ भी कुछ ऐसा है तो आंखों का चेकअप करवाएं।

    और पढ़े – सिर दर्द में कासनी के फायदे

    सिर दर्द होने के लक्षण (Symptoms of Headache)

    आयुर्वेद के अनुसार शरीर में वात, पित्त और कफ के मिश्रित असंतुलन या प्रधानता  या एकल के प्रधानता के कारण सिर में दर्द होता है। तीनों ही दोषों के कारणों से शिर में पीड़ा होती है। परन्तु हर एक दोष की प्रधानता के कारण सिर में दर्द होगा।

    वात के कारण होने वाले सिरदर्द के लक्षण

    बिना किसी कारण सिर में दर्द होता है।

    रात के समय में यह पीड़ा विशेष रुप से होती है।

    सिर को बांधने से शान्ति मिलती है।

    पित्त के कारण होने वाले सिरदर्द के लक्षण 

    सिर में जलन और दर्द होती है।

    आँखों में जलन होती है।

    ठंडा उपचार या ठंडे पानी से नहाने से शांति मिलती है।

    कफ के कारण होने वाले सिरदर्द के लक्षण

    सिर एवं गला कफ से भरा हुआ महसूस होता है।

    आँख और चेहरा सूजा हुआ होता है।

    आम तौर पर सिर दर्द कई प्रकार के होते हैं, जैसे-

    • प्राथमिक सिर दर्द
      • -माइग्रेन
      • -क्लस्टर सिर दर्द
      • -तनाव सिर दर्द
    • माध्यमिक सिर दर्द
      •  प्रतिघात
      •  वज्रपात
      • साइनस सिर दर्द
      • कैफिन सिर दर्द

    प्राथमिक सिरदर्द : 

    यह एक स्वयं होने वाली बीमारी है जो सिर के अन्दर-संवेदी संरचनाओं की अतिक्रियशिलता या उसमें उत्पन्न समस्याओं के कारण होते हैं, इनमें रक्त वाहिकाएँ माँसपेशियाँ, सिर और गर्दन की नसें शामिल हैं, ये मस्तिष्क की रसायनिक गतिविधि में होने वाले बदलाव का परिणाम भी हो सकता है।

    माइग्रेन : 

    इसे सामान्य भाषा में अर्धकपारी या अर्धाशिश भी कहते हैं, एक प्रकार का सिरदर्द का रोग है, इस रोग में सिर के एक भाग में जबरदस्त दर्द होता है। आमतौर पर सिरदर्द एक हिस्से को प्रभावित करता है और इसकी प्रकृति धुकधुकी जैसी होती है जो 2 से लेकर 72 घंटों तक बना रहता है। संबंधित लक्षणों में मितली, उल्टी, फोटोफोबिया (प्रकाश के प्रति अतिरिक्त संवदेनशीलता), फोनोफोबिया (ध्वनि के प्रति अतिरिक्त संवेदनशीलता) शामिल हैं और दर्द सामान्य तौर पर शारीरिक गतिविधियें से बढ़ता है।

    माइग्रेन सिरदर्द से पीड़ित एक तिहाई लोगें को ऑरा के माध्यम इसका पूर्वाभास हो जाता है, जो कि क्षणिक दृष्य, संवेदन, भाषा या मोटर (गति पैदा करने वाली नसें) अवरोध होता है और यह संकेत देता है कि शीघ्र ही सिरदर्द होने वाला है। माना जाता है कि माइग्रेन पर्यावरणीय और आनुवांशिकीय कारकों के मिश्रण से होते हैं। लगभग दो तिहाई मामले पारिवारिक ही होते हैं। अस्थिर हार्मोन स्तर भी एक भूमिका निभा सकते हैं। माइगेन यौवन पूर्व की उम्र वाली लड़कियों को लड़कों की अपेक्षा थोड़ा अधिक प्रभावित करता है लेकिन पुरुषों की तुलना में महिलाओं को दो से तीन गुना अधिक प्रभावित करता है। आम तौर पर गर्भावस्था के दौरान माइग्रेन की प्रवृत्ति कम होती है।

    माइग्रेन की सटीक क्रियाविधि की जानकारी नहीं है। हालांकि इसको न्यूरोवेस्कुलर विकार माना जाता है। प्राथमिक सिद्धांत सेरेब्रल कॉर्टेक्स (प्रमस्तिष्की आवरण) की बढ़ी हुई उत्तेजना तथा ब्रेनस्टेम (रीढ़ के पास का मस्तिष्क का हिस्सा) के ट्राइगेमिनल न्यूक्लियस (त्रिपृष्ठी नाभिक) में न्यूरॉन्स दर्द के असामान्य नियंत्रण से संबंधित है।

    और पढ़ें: माइग्रेन में रीठा के फायदे

    आयुर्वेद में सिरदर्द का इलाज कैसे करें? - aayurved mein siradard ka ilaaj kaise karen?

    आरंभिक अनुशंसित प्रबंधन में, सिरदर्द के लिये सामान्य दर्दनाशक दवाएं जैसे आइब्युप्रोफेन और एसिटामिनोफेन, मितली और शुरुआती समस्याओं के लिये मितलीरोधी दवायें दी जाती है। जहां पर सामान्य दर्दनाशक दवाएं प्रभावी नहीं होती हैं वहां पर विशिष्ट एजेन्ट जैसे ट्रिप्टन्स या एरगोटामाइन्स का उपयोग किया जा सकता है। आयुर्वेद में इसे अर्धावभेदक कहा गया है।

    माइग्रेन का वैज्ञानिक कारण मरीज के सिर की ब्लड वेसल्स यानी खून की नलियों का फैल जाना और उसके बाद उसमें कुछ खास तरह के केमिकल्स का स्राव होना है। ये केमिकल्स नर्व फाइबर्स यानी तंत्रिका रेशों द्वारा पड़ने वाले दबाव की वजह से निकलते हैं। दरअसल, जब सिरदर्द के दौरान कोई आर्टरी या ब्लड वेसल फैल जाती है तो वह नर्व फाइबर्स पर दबाव डालती है। इस दबाव की वजह से केमिकल रिलीज होते हैं, जिससे ब्लड वेसल्स में सूजन, दर्द और फैलाव होने लगता है। इस स्थिति में मरीज को बहुत तेज सिरदर्द होता है।

    एलर्जी, टेंशन, तेज रोशनी, तेज सुगंध, तेज आवाज, धुआं, सोने का तय वक्त न होना, व्रत, ऐल्कोहल, अनियमित पीरियड्स, बर्थ कंट्रोल पिल्स, हॉर्मोनल चेंज, इसके अलावा मछली, मूंगफली, खट्टे फल और अचार के सेवन से भी यह दर्द हो सकता है।

        लक्षण :

    • सिर दर्द में आधे या कभी पूरे हिस्से में जबरदस्त दर्द होना।
    • आँखों में दर्द होना, धुँदला दिखाई देना या आँखों के सामने बिजली चमकना।
    • हाथ और पैर ठण्डे/सुन्न पड़ जाना।
    • भूक कम लगना।
    • जी मिचलाना।
    • उल्टी होना
    • आवाज और रोशनी के प्रति संवेदनशीलता बढ़ जाना।
    • कमजोरी।
    • ज्यादा पसीना आना।

    क्लस्टर सिर दर्द :

    यह रेयर प्रकार का प्राथमिक सिर दर्द है यह दर्द बहुत बार पुरुषों को प्रभावित करते हैं, यह दर्द कभी भी और किसी कारण से होता है।

    लक्षण-

    इस दर्द में पीड़ा के साथ जलन भी होती है।

    इस रोग में दर्द सिर के किसी भी भाग में हो सकता है, चेहरे, सिर और गर्दन आदि।

    जिस आँख में दर्द है उसी आँख से पानी भी निकलने लगता है।

    जिस आँख में प्रभावित है उसी आँख की पलक गिर जाती है।

    एक नाक से कफ निकला रहता है।

    और पढ़ेंः माइग्रेन के लिए घरेलू इलाज

    तनाव सिर दर्द (Tension type)

    सिर दर्द का सबसे आम कारण लम्बे समय तक तनाव या परेशानी है। यह सिर, गर्दन और आँखों के पीछे हल्के, मध्य या तीव्र दर्द का कारण बन सकता है।

    लक्षण-

    • सुस्त सिर दर्द
    • माथे के चारों ओर दबाव
    • माथे और स्कैल्प के चारों ओर कोमलता
    • बहुत थके हुए लगना
    • चिड़चिड़ा पन
    • ध्यान केन्द्रित करने में समस्या
    • मांसपेशियों में दर्द
    • सोने में समस्या

    माध्यमिक सिरदर्द (Secondary Headache)

    माध्यमिक सिर दर्द के लक्षण तब दिखाई देते हैं जब सिर की संवेदनशील नसों को कोई अन्य कारक उत्तेजित करता है दूसरे शब्दों में किसी अन्य वजह से सिर दर्द होता है।

    इनमें शराब से होने वाला हैंगओवर, बेन ट्यूमर, रक्त का थक्का, काला मोतिया, रात में दाँत कटकटाना आदि। इनसे होने पर इलाज (sir dard ka ilaj) जरूरी होता है।

    • प्रतिघात (Rebound)- सिर दर्द के लक्षणों का इलाज करने वाली दवा का अत्यधिक मात्रा में उपयोग करने से प्रतिघात (Rebound) सिर दर्द होते हैं। यह दिन में शुरु होता है और पूरे दिन रहता है, दवा लेने पर आराम मिलता है परन्तु जैसे ही दवा का असिर समाप्त होता है दर्द बढ़ जाता है।
    • वज्रपात (Thunderclap)- इस प्रकार का सिर दर्द अचानक होता है और यह एक मिनट से कम समय में अपनी चरम सीमा पर पहुँच जाता है।
    • साइनस सिर दर्द नाक , मस्तिष्क, आँखों के अंदरुनी भाग में जो थोड़ी-सी खोखली जगह होती है, उसे ही साइनस कहते हैं। साइनस का मार्ग जब रुक जाता है और बलगम निकलने में परेशानी होती है तो इसे साइनासाइटिस कहते हैं।  साइनस का मुख्य कारण धूल और प्रदूषण है, लेकिन बदलते मौसम से भी साइनस की समस्या काफी बढ़ जाती है।
    • कैफीन सिर दर्द यह तनाव पर आधारित सिरदर्द की तरह है और मांसपेशियों के ऐंठन एवं जकड़न के कारण होता है। यह दर्द गर्दन में फैलता है, यह सर्वाइकल डिस्क रोग आदि से जुड़ा होता है।

    सिर दर्द को रोकने के उपाय (How to Prevent Headache)

    अब तक आपने सिर दर्द या माइग्रेन होने के लक्षण और कारणों के बारे में जाना। लेकिन अपने रोजर्मरा के जीवन में कुछ बदलाव लाने पर आम समस्याओं के कारण जो सिर दर्द और माइग्रेन (how to overcome migraine) होता है उसको होने से रोक सकते हैं, जैसे समय पर सोना या खाना आदि। चलिये ऐसे ही कुछ आसान उपायों के बारे में जानते हैं-

    • दवा- किसी दवा को लगातार लेने से और उसको अचानक बन्द कर देने से सिर दर्द विकराल रुप धारण करता है, इसलिए दर्द की दवा का सेवन करना या छोड़ना  चिकित्सीय परामर्श से ही करें।
    • शराब- ज्यादा मात्रा में तथा बिना पानी के शराब का सेवन करने से सिर दर्द होने लगती है।
    • निकोटिन- तम्बाकू सेवन करने के कारणों से भी सिर दर्द होता है।
    • नींद –नियमित एवं पर्याप्त मात्रा में नींद लें।
    • तनाव – तनाव को व्यायाम एवं प्राणायाम द्वारा कम करने का प्रयास करें।ज्यादा तनाव और चिन्ता न करें
    • पानी-नियमित रुप से खाये और अपने अंदर पानी की कमी न होने दें।दिन में 10-12 गिलास पानी जरुर पियें।
    • नींद- रोजाना कम से कम से 7-8 घण्टे की नींद लें और सुबह जल्दी उठे।
    • मेडिटेशन-रोजाना मेडिटेशन और एक्सरसाइज करें।
    • टीवी या कंप्यूटर देखना- लम्बे समय तक टीवी कम्प्यूटर न देखें।
    • सांस लेना-गहरी साँस लें।
    • खाना खाना– समय पर खाएं।

    और पढ़ें – माइग्रेन में शिरीष के फायदे

    सिर दर्द से छुटकारा पाने के घरेलू नुस्ख़ें (Home Remedies for Headache in Hindi)

    आम तौर पर सिर दर्द से राहत पाने के लिए घरेलू नुस्ख़ों को ही अपनाया जाता है। इनमें वह चीजें होती हैं जो आसानी से घर में मिला जायें या उसको इस्तेमाल करने का तरीका (sir dard ka ilaj) आसान हो। चलिये इनके बारे में विस्तृत से जानते हैं।

    गर्म पानी में पैर डुबाने से सिर दर्द से मिले राहत (Socking Feet in hot Water Treatment for Headache in Hindi)

    पैर को गर्म पानी में डुबोकर रखने से भी सिर दर्द से राहत मिलती है। पैर को गर्म पानी में डुबोने से सिर की रक्त वाहिनियों में दबाव कम होता है। अगर दर्द ज्यादा हो तो आप पानी में सरसों का तेल भी मिला सकते है (sir dard ka ilaj)।

    और पढ़े – सिर दर्द में भांग के फायदे

    बर्फ की सिकाई सिर दर्द से दिलाये राहत (Ice Treatment Helps to Ease Headache in Hindi)

    बर्फ की ठण्डक सूजन को दूर करती है और सिर के दर्द के इलाज (sar dard ki dawa in hindi) के लिए दवा की तरह काम करता है और कष्ट से आराम दिलाता है। 

    आयुर्वेद में सिरदर्द का इलाज कैसे करें? - aayurved mein siradard ka ilaaj kaise karen?

    तेल से चंपी सिरदर्द से दिलाये राहत (Oil Massage Helps to Relieve from Headache in Hindi)

    तनाव (tension headache home remedies) के कारण होने वाले सिर दर्द में सिर के तैल से मालिश करें। ये सिरदर्द का इलाज (sir dard ka ilaj)होता है।

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    अदरक के उपचार से सिरदर्द से मिले राहत (Ginger Benefits to Treat Headache in Hindi)

    अदरक के अन्दर ए, सी और बी काम्प्लैक्स, विटामिन्स, मैग्नीशियम, फास्फोरस, पोटेशियम, सिलिकॉन, सोडियम, लौह, जस्ता, कैल्शियम और वीटा- कैरोटीन आदि का अच्छा स्रोत है। रिसर्च में देखा गया है कि अदरक की प्रोस्टाग्लैडीन को रक्त वाहिनियों में दर्द और सूजन पैदा करने से रोकने की क्षमता की वजह से यह माइग्रेन-पीड़ित व्यक्ति को माइग्रेन के दर्द से राहत (sir dard ka ilaj) दिलाने में सहायक है।

    इस्तेमाल करने का तरीका

    • सिर दर्द से छुटकारा पाने के लिए अदरक के जूस और नींबू के जूस को एक साथ बराबर मात्रा में मिला लें। अब इस मिश्रण को पूरे दिन में एक या दो बार जरूर पियें, ये दवा (sar dard ki dawa in hindi) की तरह काम करता है।
    • सिर दर्द से छुटकारा पाने के लिए एक चम्मच अदरक के पाउडर में दो चम्मच पानी मिला लें। अब इस पेस्ट को माथे पर कुछ मिनट के लिए लगाकर रखें। ये दवा (sar dard ki dawa in hindi) की तरह काम करता है।
    • अदरक के पाउडर या कच्चे अदरक को पानी में उबाल लें। फिर इस पानी से कुछ मिनट तक भाप लेने की कोशिश करें। ये दवा (sar dard ki dawa in hindi) की तरह काम करता है।
    • सोंठ को बहुत बारीक पीसकर बकरी के दूध में घोल कर नाक के छिद्रों में बूँद-बूँद टपका कर और ऊपर साँस नाक से खींचने से सभी तरह के सिर दर्द दूर हो जाते हैं। ये दवा (sar dard ki dawa in hindi) की तरह काम करता है।

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    पुदीना सिरदर्द में फायदेमंद (Mint Helps to Control Headache in Hindi)

    पुदीने में मैगनीज तांबा और विटामिन सी का एक अच्छा स्रोत है। इसके अलावा यह एंटी ऑक्सीडेंट, जीवाणुरोधी, एंटी वायरल आदि गुणों की वजह से भी जाना जाता है। इसमें एनलजेसिक प्रभाव होते है जो दर्द कम करने में सक्षम होते है यह रक्त प्रवाह में भी सुधार लाता है और तनाव ग्रस्त मांसपेशियों को शान्त करता है। मेथोल और मेंथोन पुदीने के सबसे मुख्य घटको में से एक है जो सिर दर्द (sar dard ki dawa in hindi) के लिए बेहद प्रभावशाली है।

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    इस्तेमाल करने का तरीका

    पुदीने की मुट्ठीभर पत्तियों के जूस को माथे पर कुछ देर लगाकर रखें, इस तरह आपके सिर के दर्द का इलाज (sar dard ki dawa in hindi) बहुत ठीक होगा।

    तुलसी सिरदर्द से दिलाये राहत (Tulsi Benefits for Headache in Hindi)

    तुलसी मांसपेशियों को आराम देने की तरह काम करती है। थकी हुई मांसपेशियों के कारण होने वाले सिर के दर्द का इलाज (sar dard ki dawa in hindi) करने में तुलसी बेहद लाभदायक होती है। इसके साथ ही इसमें आराम देने और एनाल्जेसिक के प्रभाव भी मौजूद होते हैं।

    आयुर्वेद में सिरदर्द का इलाज कैसे करें? - aayurved mein siradard ka ilaaj kaise karen?

    इस्तेमाल करने का तरीका

    सिर दर्द से छुटकारा पाने के लिए एक कप पानी में सबसे पहले तीन या चार तुलसी की पत्तियों को कुछ मिनट तक उबालने के लिए रख दें। इसमें कुछ मात्रा में शहद भी मिलाकर चाय को पी सकते हैं। एक कटोरे के पानी में एक चम्मच तुलसी की पत्तियां या कुछ बूँदें तुलसी के तेल की डाल लें और फिर उस पानी से भाप लेने की कोशिश (sir dard ka ilaj) करें। ये घरेलू नुस्खा दवा (sar dard ki dawa in hindi)  की तरह काम करता है।

    सिर दर्द से छुटकारा पाने के लिए कुछ तुलसी की पत्तियों को चबाएं या तुलसी के तेल को किसी आवश्यक तेल के साथ मिलाकर माथे पर मसाज करें। इससे दवा (sar dard ki dawa in hindi) की तरह तुरन्त आराम मिलता है। 

    और पढ़े: सिर दर्द मे तुलसी के फायदे

    लैंवेडर सिर दर्द से दिलाये आराम (Lavender Help to Ease Headache in Hindi)

    सिर दर्द से छुटकारा पाने के लिए लैवेंडर के तेल को सूंघने से आपको सिर दर्द की समस्या से बेहद आराम (sir dard ka ilaj) मिलता है। एक रिसर्च के अनुसार लैवेंडर का तेल माइग्रेन के लक्षणों को भी ठीक करने में मदद करता है।

    इस्तेमाल करने का तरीका

    • लैवेंडर का तेल सिर में डालने से या सूंघने से सिर दर्द ठीक हो जाता है। माइग्रेन का मुख्य कारण रक्त के संचार का प्रभावी रुप से ना होना है, यह तेल शिराओं को खोलने का कार्य करता है तथा Oxygen की मात्रा को बढ़ाता है।
    • एक टिश्यू पेपर का लैवेंडर के तेल की कुछ बूंदे डाल लें और फिर उस पेपर को सूंघ लें। इसके अलावा आप दो कप उबलते पानी में दो बूंदे लैवेंडर के तेल की डाल लें (sir dard ka ilaj)। फिर उस पानी से कुछ मिनट तक भाप लें, ये दवा (sar dard ki dawa in hindi) की तरह काम करता है।
    • आप दो या तीन बूंदे लैवेंडर के तेल की आवश्यक तेल जैसे बादाम या जैतून के तेल में डाल लें। सिरदर्द की ये दवा (sar dard ki dawa in hindi) प्रभावकारी होता है।

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    नींबू सिरदर्द में फायदेमंद (Lemon Help to Relieve Headache in Hindi)

    नींबू के छिलके को पीसकर सिर पर लेप करने से सिर दर्द की दवा (sar dard ki dawa in hindi)की तरह आराम देता  है।

    आयुर्वेद में सिरदर्द का इलाज कैसे करें? - aayurved mein siradard ka ilaaj kaise karen?

    बादाम तेल सिरदर्द से दिलाये आराम (Almond Oil Treatment for Headache in Hindi)

    सिर दर्द से छुटकारा पाने के लिए बादाम तैल में केसर मिलाकर दिन में 3 बार सूँघने से दर्द (sir dard ka ilaj) कम हो जायेगा। यह कई वैद्यों द्वारा प्रयोग किया गया उत्तम नुस्खा (sar dard ki dawa in hindi) दवा की तरह काम करता है।

    लौंग का पेस्ट सिरदर्द से दिलाये राहत (Clove Help to Get Relief from Headache in Hindi)

    सिर दर्द से छुटकारा पाने के लिए लौंग पीसकर, हल्का गर्म करके, जिस भाग में दर्द (sir dard ka ilaj) हो उसमें लगाएँँ। सिर दर्द की ये दवा (sar dard ki dawa in hindi) लेने से जल्दी आराम मिलता है।

    राई का पेस्ट सिरदर्द में लाभकारी (Mustard Paste Massage Help to Treat Headache in Hindi)

    सिर दर्द से छुटकारा पाने के लिए राई को पीसकर माथे पर लगाने से सिरदर्द में लाभ(sir dard ka ilaj) मिलता है।

    नारियल का मिश्रण सिरदर्द में फायदेमंद (Coconut is Beneficial in Headache in Hindi)

    सिर दर्द से छुटकारा पाने के लिए नारियल की सूखी गिरी 25 ग्रा., मिश्री 25 ग्रा., को सूर्य उगने से पहले खाने से सिरदर्द बन्द (sir dard ka ilaj)हो जाता है। ये घरेलू नुस्खा दवा (sar dard ki dawa in hindi) की तरह काम करता है।

    आयुर्वेद में सिरदर्द का इलाज कैसे करें? - aayurved mein siradard ka ilaaj kaise karen?

    और पढ़ें: सिर दर्द में गुड़हल फायदेमंद

    डॉक्टर के पास कब जाना चाहिए? (When to See a Doctor?)

    आम तौर पर सिर दर्द को आम बीमारी माना जाता है लेकिन जब इसके लक्षण जटिल हो जाये और एक हफ़्ते से ज्यादा दिनों तक सिर दर्द कम नहीं हो रहा है तो डॉक्टर से सलाह लेकर सिरदर्द की दवा (sar dard ki dawa in hindi) लेनी चाहिए। सिर दर्द से छुटकारा पाने के लिए डॉक्टर से बात करना जरूरी होता है। 

    सिर दर्द की आयुर्वेदिक दवा क्या है?

    पुदीने की पत्तियों को पीसकर उनका रस माथे पर लगाएं या पुदीने की चाय बनाकर पिएं। तुलसी सिरदर्द भगाने का पक्का इलाज है। तुलसी की कुछ पत्तियों को पानी में उबालें और छानकर पिएं। तुलसी को सामान्य तरीके से चबाने से भी सिरदर्द रफूचक्कर हो जाता है।

    सिरदर्द को तुरंत कैसे ठीक करें?

    सिर दर्द होने पर आप अपनी दोनों हथेलियों को सामने की तरफ ले आइए. इसके बाद एक हाथ से दूसरे हाथ के अंगूठे और इंडेक्स फिंगर के बीच की जगह पर हल्के हाथ से मसाज करें. यह प्रोसेस दोनों हाथों में 2 से 4 मिनट तक दोहराइए. ऐसा करने से आपको सिरदर्द में तुरंत आराम मिलेगा.

    सिर दर्द के लिए कौन सी जड़ी बूटी है?

    पुदीना का उपयोग अगर आपको साइनस, एलर्जी या फिर सर्दी-जुकाम की वजह से सिर में दर्द होता है तो आप पुदीने (Mint) का इस्तेमाल कर इसे ठीक कर सकते हैं. ... .
    तुलसी की पत्तियां ... .
    पिपली का प्रयोग ... .
    गिलोय का प्रयोग ... .
    त्रिफला का सेवन.

    बार बार सिर में दर्द होने का क्या कारण है?

    कई बार यह एक-दो घंटे तक रह सकता है और कई दिनों तक भी सिरदर्द रह सकता है. तनाव के कारण अक्सर सिरदर्द होने लगता है. तनाव से जुड़ा सिरदर्द, कंधों, गर्दन, जबड़े, मांसपेशियों और खोपड़ी में तनाव के चलते होता है. बहुत ज्यादा काम करने, पर्याप्त नींद न लेने, समय पर खाना न खाने और शराब का सेवन करने की वजह से ऐसा सिरदर्द होता है.