गूगल अनुवाद
गूगल अनुवाद या गूगल ट्रान्स्लेट (अंग्रेज़ी: Google Translate) एक अनुवादक साफ्टवेयर एवं सेवा है जो एक भाषा के टेक्स्ट या वेबपेज को दूसरी भाषा में अनुवाद करता है। यह गूगल नामक कंपनी द्वारा विकसित एवं परिचालित है। इसके लिये गूगल अपना स्वयं का अनुवादक सॉफ्टवेयर प्रयोग करता है जो सांख्यिकीय मशीनी अनुवाद है। जनवरी 2016 की स्थिति के अनुसार, गूगल अनुवाद विभिन्न स्तरों पर 90 भाषाओं का समर्थन करता है[2] और प्रतिदिन 20 करोड़ लोगों को अनुवाद प्रदान करता है।[1] इस समय इसमें हिन्दी से अन्य भाषाओं में तथा अन्य भाषाओं से हिन्दी में भी अनुवाद की सुविधा उपलब्ध है। इसके टेक्स्ट-बक्से में देवनागरी में लिखी सामग्री चिपकाकर इसका अनुवाद किया जा सकता है ; या सीधे ध्वन्यात्मकरोमन में टाइप करने पर वह स्वतः देवनागरी में बदल जाता है जिसे 'अनुवाद करो' (ट्रांसलेट) बटन दबाकर अनुवाद कर सकते हैं। गूगल ने किसी ब्लॉग को बहुभाषी अनुवाद के लिए गूगल अनुवादको ब्लॉग विजेट के रूप में मुक्त में प्रदान किया है अनुक्रम
एंड्रॉएड ट्रांसलेट एप्लिकेशन[संपादित करें]गूगल अब एंड्रॉएड डिवाइसेज के लिए अपने गूगल ट्रांसलेट एप्लिकेशन का अपडेटेड वर्जन लॉन्च करने के लिए तैयार है। लगभग एक महीने पहले ही माइक्रोसॉफ्ट की सर्विस स्काइप ने स्पीच के रियलटाइम ट्रांसलेशन के लिए एक प्रोग्राम लॉन्च किए थे। टेक्स्ट को ध्वनि[संपादित करें]पहले गूगल ने जुलाई 2013 में कहा था रि गूगल का आने वाला अपडेटेड ट्रांसलेशन एप्लकिशेन जल्दी ही अनुवाद करने में सक्षम होगा। इसके अलावा यह पहले से कहीं सटीक अनुवाद भी उपलब्ध कराएगा. फ़िलहाल बहुत कम एप्लिकेशन में ही इस तरह के अनुवाद की सुविधा उपलब्ध है। इसमें यह भी सुविधा है कि हिन्दी टेक्स्ट को ध्वनि (स्पीच) में बदलकर सुनाता है। मै 8अक्टूबर को धरती पर आया तस्वीर देखकर अनुवाद करेगा गूगल ट्रांसलेट[संपादित करें]गूगल ट्रांसलेट का उपयोग आप अक्सर करते होंगे लेकिन क्या आपको मालूम है कि गूगल का ट्रांसलेट एप्लिकेशन अब तस्वीर देखकर इंग्लिश से हिंदी अनुवाद करने में भी सक्षम है। कंपनी ने गूगल ट्रांसलेट एप्लिकेशन का नया संस्करण पेश किया हैं जिसमें फोटो टू टेक्स्ट फीचर के माध्यम से इंग्लिश से हिंदी अनुवाद को जोड़ा गया है। गूगल की इस ट्रांसलेट सेवा में पहले टेक्स्ट, आॅडियो और फोटो टू टेक्सट का विकल्प था लेकिन फोटो टू टेक्सट में इंग्लिश से हिंदी अनुवाद का नहीं किया जा सकता था। अब कंपनी ने नए अपडेट में इसे लॉन्च किया है। यह सेवा उन लोगों के लिए बेहद ही फायदेमंद है जो अक्सर बाहर घूमनें जाते हैं और साइनबोर्ड पढ़कर समझने की कोशिश करते हैं। अब गूगल ट्रांसलेट का फोटो टू टेक्स्ट फीचर उन्हें बस एक क्लिक से आशाय बताने में सक्षम है।गूगल ट्रांसलेट एप्लिकेशन की शुरुआत करते ही सबसे पहले कैमरा फीचर दिखाई देगा। इसे टच करते ही यह एक्टिव हो जाता है। आप जिस शब्द का ट्रांसलेशन करना चाहते हैं उस पर कैमरा फोकस करें।शब्द पर कैमरा को फोकस करने के बाद नीचे दिए गए स्कैन बटन को टच करते ही यह कार्य शुरु कर देता है। कैमरा स्कैन में यह स्कैन क्षेत्र में आने वाले सभी शब्दों का सलेक्शन कर लेता है लेकिन एक बार में एक का ही शब्द का अनुवाद करेगा। जब एक बार आप एक शब्द का चुनाव कर लेते हैं तब जाकर नीचे सलेक्ट आॅल का विकल्प आता है और आप यहां से एक साथ सभी का आशय जान सकते हैं।एप्लिकेशन में एसएमएस ट्रांसलेशन का भी विकल्प दिया गया है। टाइपिंग के अलावा हैंडराॅयटिंग रिकाॅग्नीशन और स्पीच जैसे फीचर्स पहले ही उपलब्ध हैं। वहीं अच्छी बात यह कही जा सकती है कि इसमें अब आॅफ लाइन ट्रांसलेशन का भी लाभ ले सकते हैं। परंतु इसके लिए आपको 200 एमबी से ज्यादा की फाइल डाउनलोड करनी होगी। गूगल ट्रांसलेट की फोटो टू टेक्स सेवा फिलहाल 37 भाषाओं में उपलब्ध है जिसमें हिंदी भी शामिल है। एप्लिकेशन में कमी यह कही जा सकती है कि स्कैन के दौरान ट्रांसलेट में थोड़ा समय लेता है। अन्यथा उपयोग में बेहद ही आसान है और काफी फायदेमंद भी। गूगल ट्रांसलेट एप्लिकेशन को एंडराॅयड फोन के लिए गूगल प्ले स्टोर से मुफ्त में डाउनलोड किया जा सकता है। समर्थित भाषाएँ[संपादित करें]गूगल अनुवाद में निम्नलिखित भाषाओं का/से अनुवाद किया जा सकता है-
ये भाषाएं अभी विकास में हैं[संपादित करें]ये भाषाएँ अभी तक अनुवाद द्वारा समर्थित नहीं हैं, लेकिन अनुवाद समुदाय में उपलब्ध हैं।
इन्हें भी देखें[संपादित करें]
सन्दर्भ[संपादित करें]
बाहरी कड़ियाँ[संपादित करें]
वह किताब क्यों पड़ता है?गांधी जी ने 29 नवंबर, 1925 को इस किताब को लिखना शुरू किया था और 3 फरवरी, 1929 को यह किताब पूरी हुई थी. गांधी-अध्ययन को समझने में 'सत्य के प्रयोग' को एक प्रमुख दस्तावेज का दर्जा हासिल है, जिसे स्वयं गांधी जी ने कलमबद्ध किया था.
वह किताब क्यों नहीं पड़ता है ट्रांसलेशन?यह गूगल नामक कंपनी द्वारा विकसित एवं परिचालित है।
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गूगल अनुवाद. वह किताब पढ़ता है इसका इंग्लिश क्या होगा?इससे यह बात समझने में मदद मिलती है कि बच्चों की भाषा की समझ पढ़ने से ही बेहतर होती है और इसका प्रभाव अन्य विषयों पर भी दिखाई देता है ।
वह किताब कब पड़ता है?किताबें प्रिंट करना
कंप्यूटर का इस्तेमाल करके, ई-बुक प्रिंट की जा सकती हैं. अहम जानकारी: कुछ ई-बुक में पेज प्रिंट करने की सीमाएं तय होती हैं. ये सीमाएं, किताब के पब्लिशर सेट करते हैं. साथ ही, हर किताब के हिसाब से ये सीमाएं अलग-अलग हो सकती हैं.
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