अपने विद्यालय की किसी विशेष घटना का वर्णन करते हुए अपने मित्र को पत्र लिखें | विद्यालय में किसी घटना का वर्णन करते हुए अपने मित्र को एक पत्र लिखें।विद्यालय छात्रावास, माध्यमिक उच्च विद्यालय, विकास नगर, पटना, 23 सितंबर 2020 प्रिय मित्र शुभम, मंगल कामना। तुम्हारा पत्र मुझे आज ही प्राप्त हुआ है। पत्र पढ़कर अत्यधिक प्रसन्नता हुई कि हमेशा की तरह पिछले परीक्षा में भी तुम्हें प्रथम स्थान प्राप्त हुआ। हमेशा की तरह मेरी शुभकामनाएं तुम्हारे साथ है। तुम इसी प्रकार सदा सफलता की सीढ़ियों पर आगे बढ़ते रहो। तुमने अपने पत्र में मेरे विद्यालय कि किसी विशेष घटना का वर्णन जानने की जिज्ञासा प्रकट की है। इसलिए मैं इस पत्र में अपने विद्यालय की मनोरंजन घटना का वर्णन कर रहा हूं। ---- यह कार्यक्रम पिछले सप्ताह की है। इस घटना को याद कर मुझे आज भी बड़ा आश्चर्य होता है, और हंसी भी खूब आती है। हमारे विद्यालय के पास एक आम का बगीचा है। उस बगीचे में कहीं से तीन - चार बंदर और एक बंदरिया अपने बच्चों के साथ आ गई थी। टिफिन के समय जब मैं अपने विद्यालय के मित्रों के साथ बगीचे में गया तो, सभी बंदर डर कर पेड़ पर चढ़ गए और अजीब अजीब हरकते करने लगे, मानो हम सभी को अपना नाच दिखाना चाहते हो। हम सभी मित्र बंदरों की नाच देख पर अत्यधिक प्रसन्न थे। लेकिन, इस दिन आश्चर्यजनक घटना घट गई। हुआ यूं कि अचानक एक बंदर पेड़ से उतर कर हमारे काफी नजदीक आ गया, और हमारे टिफिन को गौर से देखने लगा। हमारे मन में इच्छा हुई कि हम अपने टिफिन में से एक रोटी उस बन्दर को दे दें और हमने ऐसा ही किया। जब हमने एक रोटी दिया तो, उसने बिना कोई हरकत किए ले लिया। लेकिन फिर भी वो वहां से नहीं गया। हम सभी मित्र इस घटना पर मनोरंजित थे, और आनंद ले रहे थे। लेकिन बंदर को रोटी देने के बाद, पेड़ से उतरकर तीन-चार बन्दर हमारी ओर आने लगे। यह देख कर हम चकित रह गए और आस-पास के बच्चे आंनद लेने लगे। लेकिन, हम वाहा से भागकर दूसरे जगह जाने लगे, तो बन्दर हमारा पीछा करने लगे। हम सभी परेशान हो गए। बगीचे में हलचल मच गई और सभी बच्चे भी परेशान हो उठे। ऐसे में हम सभी मित्र में फैसला किया कि हम उन्हें खाने के लिए 3 रोटी और 3 केले देंगे, तो एक मित्र ने जब बन्दर को खाना देने गया तो बन्दर ने उत्तेजित होकर मेरे मित्र को एक चाटा मारा और उसका गाल लाल कर दिया। फिर, वो जैसे तैसे वाहा से भाग खड़ा हुआ। हम सभी बंदरों की इस हरकत से आश्चर्यचकित थे। फिर हमने विद्यालय के कर्मचारी को बुलाकर बगीचे से सभी बन्दर को वाहा से भगाया। फिर हम सभी बच्चों ने मिलकर एक साथ बैठ कर अपना-अपना टिफिन किया। इस घटना से हम सभी मनोरंजित और आश्चर्यचकित हो गए थे। टिफिन करने के बाद हम सभी अपने-अपने कक्षा में चले गए। मित्र, यह थी ना एक मनोरंजक और आश्चर्यजनक घटना। इस बारे में तुम अपनी प्रतिक्रिया जरूर देना। उस घटना को मैं कभी नहीं भूल पाऊंगा। पूज्य चाचा जी और चाची जी को मेरा प्रणाम कहना। तुम्हारा मित्र अंकित { पता } विकास नगर, रोड संख्या .09 पटना - 8000xxxx (बिहार) |