बीटीसी करने के बाद क्या करना चाहिए? - beeteesee karane ke baad kya karana chaahie?

नमस्कार दोस्तों, यदि आप भी सरकारी अध्यापक के रूप में अपना भविष्य बनाना चाहते हैं। तो आपके मन में यह सवाल जरूर आया होगा, कि सरकारी टीचर बनने के लिए b.ed करें या btc बीटीसी। यह जाहिर सी बात है कि बीटीसी और b.ed में किसी भी कोर्स को करके हम सरकारी अध्यापक बन सकते हैं।

बीटीसी करने के बाद क्या करना चाहिए? - beeteesee karane ke baad kya karana chaahie?

लेकिन सवाल यह है कि B.ED और BTC में अंतर क्या है? हमारे लिए बीएड ज्यादा फायदेमंद होगा या बीटीसी। किस कोर्स को करने से सरकारी अध्यापक बनने के ज्यादा अवसर होते हैं? B.ED और BTC में कौन सा कोर्स बेहतर होगा? इन सभी सवालों के जवाब इस आर्टिकल में विस्तार से बताए गए हैं।

आपके लिए b.ed कोर्स सही है या बीटीसी। इस लेख को पढ़कर आप यह निर्णय लेने में सक्षम हो जाएंगे, कि सरकारी अध्यापक बनने के लिए हमें बीटीसी करना चाहिए या फिर बीएड।

  • B.Ed और BTC में अंतर क्या है 
    • B.ed कोर्स क्या है? What is B.Ed in Hindi
    • बीटीसी क्या है? What is BTC in Hindi
  • B.Ed aur B.T.C. mein kya antar hai
  • B.ed और बीटीसी (btc) में कौन बेहतर है
    • B.ed और बीटीसी में किस कोर्स को करें

बीएड और बीटीसी में बेसिक अंतर यह होता है कि इन कोर्स को करने के बाद आप किस प्रकार के सरकारी स्कूल में अध्यापन का कार्य कर सकते हैं। पुरानी शिक्षा नीति के अनुसार प्राइमरी स्कूल में अध्यापक की वैकेंसी निकलने पर सिर्फ बीटीसी कोर्स किए हुए छात्र ही आवेदन कर सकते थे।

लेकिन हाल ही में किए गए बदलाव यानी नई शिक्षा नीति के अनुसार अब b.ed कोर्स किए हुए छात्र भी प्राइमरी के टीचर के लिए आवेदन कर सकते हैं। आइए संक्षेप में जानते हैं कि b.ed कोर्स और बीटीसी कोर्स क्या होते हैं?

B.ed कोर्स क्या है? What is B.Ed in Hindi

बीएड जिसका फुल फॉर्म वैचलर ऑफ एजुकेशन होता है। बीएड 2 वर्ष का कोर्स होता है। इस कोर्स को ऐसे छात्र करते हैं जिन्हें अध्यापन के क्षेत्र में भविष्य बनाना होता है। b.ed कोर्स को ग्रेजुएशन के बाद किया जाता है। इस कोर्स को फुल टाइम यानि रेगुलर या डिस्टेंस लर्निंग प्रोग्राम के जरिए किया जा सकता है।

b.ed कोर्स की एनुअल फीस ₹15000 से लेकर ₹40000 तक होती है। इस कोर्स की फीस कॉलेज पर भी निर्भर करती है। अच्छे कॉलेज में b.ed कोर्स करने के लिए एंट्रेंस एग्जाम देना होता है जिसके जरिए एडमिशन होता है।

बीटीसी क्या है? What is BTC in Hindi

बीटीसी जिसका फुल फॉर्म बेसिक ट्रेनिंग सर्टिफिकेट होता है। बीटीसी कोर्स भी 2 वर्ष का होता है। इस कोर्स को ऐसे छात्र जो सरकारी प्राइमरी स्कूल में अध्यापक बनना चाहते हैं वह करते हैं। बीटीसी कोर्स का मुख्य उद्देश प्राथमिक शिक्षा को मजबूत बनाना है।

इसलिए इस कोर्स में छात्र को अध्यापन की ट्रेनिंग दी जाती है। एक प्रकार से यह डिप्लोमा कोर्स है। बीटीसी कोर्स को करने के लिए ग्रेजुएशन पूरा होना जरूरी होता है। बीटीसी कोर्स की फीस लगभग 10,000 से ₹35000 होती है। बीटीसी कोर्स करने के बाद औसत वेतन 3 से ₹500000 होता है। यह सैलरी अनुभव के साथ बढ़ती जाती है।

आइए जानते हैं What is the difference between BTC/D.El.Ed and b.Ed in Hindi.

B.Ed aur B.T.C. mein kya antar hai

सबसे पहले हम आपको बता दें कि BTC और D.El.Ed दोनों एक ही कोर्स है। बीटीसी को ही D.El.Ed कहते हैं। अब बात करते हैं B.T.C aur b.ed mein antar की। 

ऐसे छात्र जो सरकारी प्राइमरी, जूनियर व हाई स्कूल में अध्यापन कार्य करना चाहते हैं। उन्हें सरकार के नियम अनुसार कुछ विशेष कोर्स को करना अनिवार्य होता है। इन कोर्स को किए बगैर आप अध्यापक के रूप में अपनी सेवा नहीं दे सकते हैं।

सरकारी अध्यापक की बहुत सी वैकेंसी निकलती हैं। जिनमें सिर्फ वही छात्र आवेदन कर सकते हैं, जिन्होंने बीएड या बीटीसी कोर्स किया हुआ है।

अगर आप बीटीसी कोर्स करते हो तो आप प्राइमरी सरकारी स्कूल में टीचर बन सकते हैं। हालांकि जूनियर, हाई स्कूल जैसे विद्यालय में टीचर बनने के लिए b.ed कोर्स करना होगा।

  • यदि आप b.ed कोर्स करते हो तो आप प्राइमरी, जूनियर हाईस्कूल और इंटर कॉलेज में अध्यापक बन सकते हो।
  • बीटीसी एक डिप्लोमा कोर्स है जबकि b.ed एक डिग्री कोर्स है।
  • बीटीसी और b.ed दोनों के लिए ग्रेजुएशन कोर्स करना जरूरी होता है।
  • b.ed करने के बाद बीटीसी के मुकाबले जॉब के ज्यादा अवसर होते हैं।
  • b.ed और बीटीसी दोनों ही कोर्स 2 वर्ष के होते हैं।

B.ed और बीटीसी (btc) में कौन बेहतर है

आइए जानते हैं which is better BTC or b.Ed in Hindi जैसे कि हमने पहले बात किया है कि सरकारी अध्यापक बनने के लिए इन दोनों में से किसी न किसी कोर्स को करना ही पड़ेगा। 

यदि आपने यह ठान लिया है, कि आपको सिर्फ प्राइमरी स्कूल में सरकारी अध्यापक बनना है। तो आपके लिए बीटीसी कोर्स सही होगा। प्राथमिक विद्यालय में अध्यापक के लिए बीटीसी कोर्स को ही प्राथमिकता दी जाती है। इसलिए आप अपना ग्रेजुएशन पूरा करके बीटीसी कोर्स कर सकते हैं जिसके बाद आप प्राइमरी अध्यापक के लिए एलिजिबल हो जाते हैं।

अब बात आती है कि यदि आप माध्यमिक या उच्चतर माध्यमिक विद्यालय में शिक्षक बनना चाहते हो तो बीएड डिग्री कोर्स करना अनिवार्य है। आप बीटीसी कोर्स करके इस स्तर के स्कूल में अध्यापन का कार्य कर सकते हैं। b.ed कोर्स करने के बाद आप प्राइमरी, माध्यमिक और उच्चतर माध्यमिक स्कूलों में शिक्षक के लिए एलिजिबल हो जाते हैं।

आईए जानते हैं कि स्नातक के बाद हम b.ed करें या बीटीसी।

B.ed और बीटीसी में किस कोर्स को करें

आपके लिए b.ed सही रहेगा या बीटीसी। ऊपर बताए गए अनुसार आपको कुछ आईडिया हो गया होगा कि आप किस प्रकार के सरकारी स्कूल में सरकारी शिक्षक बनना चाहते हैं। b.ed और बीटीसी कोर्स की टोटल फीस में ज्यादा अंतर नहीं होता है। आप आर्थिक स्थिति के अनुसार कोई भी कोर्स कर सकते हैं। 

दोनों कोर्स के एडमिशन के लिए एंट्रेंस एग्जाम देना होता है । सरकारी कॉलेज मिलने पर कम पैसों में कोर्स पूरा किया जा सकता है। 

बीटीसी कोर्स करके आप सिर्फ अपने ही राज्य में प्राइमरी अध्यापक बन सकते हैं। केंद्र सरकार की जॉब वैकेंसी में आप आवेदन नहीं कर सकते हैं। जबकि b.ed कोर्स करने के बाद आप राज्य सरकार व केंद्र सरकार दोनों के द्वारा अध्यापक के लिए जॉब वैकेंसी आने पर आवेदन कर सकते हैं।

लगभग हर वर्ष प्राइमरी स्कूलों के लिए 40 से 50,000 जॉब वैकेंसी निकलती हैं। जिनमें बीटीसी किए हुए छात्र आवेदन कर सकते हैं। क्योंकि प्राइमरी स्कूल के लिए बीटीसी को प्राथमिकता दी जाती है। इस वैकेंसी में b.ed किए हुए छात्र भी आवेदन कर सकते हैं।

आपकी सुविधानुसार बीएड व बीटीसी कोर्स में जो भी अच्छा लगे उस कोर्स के साथ अपना करियर बना सकते हैं।

निष्कर्ष – बीटीसी और b.ed में अंतर

हमें आशा है कि इस आर्टिकल में दी गई जानकारी आपके लिए फायदेमंद साबित हुई होगी। इस आर्टिकल को पढ़कर आप इस निर्णय तक पहुंच गए होंगे कि आपको अपने अध्यापन कार्य के लिए किस कोर्स (b.ed या btc) के साथ आगे बढ़ना है। 

अगर आपके मन में बीटीसी और b.ed में अंतर से संबंधित कोई भी सवाल हो तो हमारे साथ जरूर शेयर करें। हम आपके सवालों का निवारण करने की पूरी कोशिश करेंगे।

बीटीसी लगाने से क्या होता है?

बीटीसी या डीएलएड एक कोर्स है। यह एक प्रकार का प्रशिक्षण है जिसे करने के बाद आप प्राथमिक या जूनियर के शिक्षक बन सकते हैं। इसके बाद राज्य का TET या CTET परीक्षा उत्तीर्ण करना होता है।

बीटीसी में कौन कौन सा सब्जेक्ट पढ़ना पड़ता है?

बेसिक टीचर सर्टिफिकेट विषयों में विज्ञान, गणित, सामाजिक अध्ययन, हिंदी, कंप्यूटर शिक्षा, अध्ययन सीखने के सिद्धांत, सामाजिक उत्पादन कार्य, स्वास्थ्य शिक्षा, प्रारंभिक शिक्षा के नए उपाय और अंग्रेजी शामिल हैं। बीटीसी (btc) पाठ्यक्रम छात्रों को सामान्य शिक्षण तकनीकों और विधियों को सिखाने के लिए डिज़ाइन किया गया है।

बीटीसी का मतलब क्या होता है?

BTC kya hai? (BTC Full Form) तो दोस्तों आपको बता दें कि BTC का फुल फॉर्म Basic Training Certificate (बेसिक ट्रेनिंग सर्टिफिकेट) होता है। इसको हिंदी में “साधारण शिक्षण कोर्स” या “बुनियादी शिक्षण पाठ्यक्रम” कहते है। नोट :- जानकारी के लिए बता दूँ की हाल ही मे सरकार ने BTC कोर्स का नाम बदल कर D.