16 मई को कौन सा त्यौहार है? - 16 maee ko kaun sa tyauhaar hai?

Aaj Ka Panchang: हिन्दी पंचांग के अनुसार, आज वैशाख मास के शुक्ल पक्ष की चतुर्थी तिथि है। आज 16 मई 2021 और दिन रविवार है। आज सुबह से दिन में लगभग सवा 11 बजे तक रवि योग है, वहीं चतुर्थी तिथि 10 बजे तक है। उसके बाद पंचमी तिथि प्रारंभ हो जाएगी। आज रविवार के दिन आपको सूर्य देव को जल अर्पित करना चाहिए। जल में लाल पुष्प, अक्षत्, लाल चंदन डालकर अर्पित करना चाहिए। ऐसा करने से कुंडली में सूर्य की स्थिति मजबूत होती है, प्रभुत्व बढ़ता है। आज के पंचांग में राहुकाल, शुभ मुहूर्त, दिशाशूल के अलावा सूर्योदय, चंद्रोदय, सूर्यास्त, चंद्रास्त आदि के बारे में भी जानकारी दी जा रही है।

आज का पंचांग

दिन: रविवार, वैशाख मास, शुक्ल पक्ष, चतुर्थी तिथि।

आज का दिशाशूल: पश्चिम।

आज का राहुकाल: शाम 04:30 बजे से 06:00 बजे तक।

आज की भद्रा: प्रात: 10:02 बजे तक।

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आज का पर्व एवं त्योहार: श्री गणेश चतुर्थी व्रत।

विक्रम संवत 2078 शके 1943 उत्तरायन, उत्तरगोल, ग्रीष्म ऋतु वैशाख मास शुक्ल पक्ष की चतुर्थी 10 घंटे 02 मिनट तक, तत्पश्चात् पंचमी आद्रा नक्षत्र 11 घंटे 14 मिनट तक, तत्पश्चात् पुनर्वसु नक्षत्र सूल योग 26 घंटे 51 मिनट तक, तत्पश्चात् गण्ड योग मिथुन में चंद्रमा।

सूर्योदय और सूर्यास्त

आज के दिन सूर्योदय प्रात:काल 06 बजकर 04 मिनट पर हुआ है, वहीं सूर्यास्त शाम को ठीक 07 बजकर 06 मिनट पर होगा।

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चंद्रोदय और चंद्रास्त

आज का चंद्रोदय सुबह 09 बजकर 23 मिनट पर होगा। चंद्र के अस्त का समय आज रात 11 बजकर 07 मिनट पर है।

आज का शुभ समय

अभिजित मुहूर्त: आज दोपहर 12 बजकर 09 मिनट से दोपहर 01 बजकर 01 मिनट तक।

रवि योग: आज प्रात: 06 बजकर 04 मिनट से दिन में 11 बजकर 14 मिनट तक।

विजय मुहूर्त: दोपहर 02 बजकर 45 मिनट से दोपहर 03 बजकर 38 मिनट तक।

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अमृत काल: आज ऐसा कोई समय प्राप्त नहीं हो रहा है।

आज वैशाख शुक्ल चतुर्थी है। आज रविवार के दिन सूर्य चालीसा और सूर्य देव के मंत्रों का जाप करना अत्यंत मंगलकारी माना जाता है। आज आप कोई नया कार्य करना चाहते हैं तो शुभ मुहूर्त का ध्यान रखें।

कुछ शुभ मुहूर्त होते हैं जैसे सर्वार्थसिद्धि, अमृतसिद्धि, गुरुपुष्यामृत और रविपुष्यामृत योग। जब किसी कार्य को करना हो और मुहूर्त उस समय नहीं हो तो इन विशेष योग या महूर्त में शुभ कार्य किया जाता है।

वैशाख मास की पूर्णिमा (Vaishakh Purnima 2022) तिथि पर किसी काम को करने के लिए कौन सा समय शुभ और कौन सा समय अशुभ साबित हो सकता है, इसे विस्तार से जानने के लिए जरूर देखें 16 मई 2022, सोमवार का पंचांग (Monday Panchang).

Aaj ka Panchang 16 May 2022 : हिंदू धर्म में किसी भी कार्य को शुभ दिन, शुभ तिथि, शुभ मुहूर्त आदि को देखकर किया जाता है. इन सभी चीजों के बारे में पता लगाने के लिए पंचांग (Panchang) की आवश्यकता पड़ती है. जिसके माध्यम से आप आने वाले दिनों के शुभ एवं अशुभ समय के साथ सूर्योदय, सूर्यास्त, चन्द्रोदय, चन्द्रास्त, ग्रह, नक्षत्र आदि के बारे में विस्तार से जानकारी प्राप्त कर सकते हें. आइए पंचांग के पांच अंगों – तिथि, नक्षत्र, वार, योग एवं करण के साथ राहुकाल, दिशाशूल (Dishashool) , भद्रा (Bhadra), पंचक (Panchank), प्रमुख पर्व आदि की महत्वपूर्ण जानकारी प्राप्त करते हैं.

16 मई 2022 का पंचांग

(देश की राजधानी दिल्ली के समय पर आधारित)

विक्रम संवत – 2079, राक्षस शक सम्वत – 1944, शुभकृत्

दिन (Day)सोमवारअयन (Ayana)उत्तरायणऋतु (Ritu)वसंतमास (Month)वैशाखपक्ष (Paksha)शुक्लपक्षतिथि (Tithi)पूर्णिमा प्रात:काल 09:43 बजे तक तदुपरांत प्रतिपदानक्षत्र (Nakshatra)विशाखा दोपहर 01:18 बजे तक तदुपरांत अनुराधायोग (Yoga)वरीयान् प्रात:काल 06:18 बजे तक तदुपरांत परिधकरण (Karana)बव प्रात:काल 09:43 बजे तक तदुपरांत बालवसूर्योदय (Sunrise)प्रात: 05:30 बजेसूर्यास्त (Sunset)सायं 07:05 बजेचंद्रमा (Moon)तुला राशि में प्रात:काल 07:54 बजे तक तदुपरांत वृश्चिक राशि मेंराहु काल (Rahu Kaal Ka Samay)प्रात:काल 07:12 से 08:54 बजे तकयमगण्ड (Yamganada)प्रात:काल 10:36 से दोपहर 12:18 बजे तकगुलिक (Gulik)दोपहर 02:00 से 03:42 बजे तकअभिजीत मुहूर्त (Abhijit Muhurt)प्रात:काल 11:50 से दोपहर 12:45 बजेदिशाशूल (Disha Shool)पूर्व दिशा मेंभद्रा (Bhadra)—पंचक (Pnachak)—

(यहां दी गई जानकारियां धार्मिक आस्था और लोक मान्यताओं पर आधारित हैं, इसका कोई भी वैज्ञानिक प्रमाण नहीं है. इसे सामान्य जनरुचि को ध्यान में रखकर यहां प्रस्तुत किया गया है.)

वैशाख महीने के आखिरी दिनों में लगातार तीज-त्योहार और पर्व रहेंगे। इन व्रत-त्योहारों का सिलसिला 12 मई से शुरू होकर 16 तारीख तक चलेगा। इनमें गुरुवार को मोहिनी एकादशी, शुक्रवार को प्रदोष व्रत इसके अगले दिन नृसिंह प्राकट्य दिवस फिर सूर्य संक्रांति पर्व और सोमवार को वैशाख महीने की पूर्णिमा रहेगी। इसी दिन साल का पहला चंद्र ग्रहण होगा। हालांकि ये भारत में नहीं दिखेगा। इसलिए इसका धार्मिक महत्व भी नहीं रहेगा। इसके अगले दिन से ज्येष्ठ महीना शुरू होगा।

जानिए किस दिन कौन सा त्योहार...

मोहिनी एकादशी (गुरुवार, 12 मई) : वैशाख महीने के शुक्ल पक्ष की एकादशी को मोहिनी एकादशी कहते हैं। मोहिनी एकादशी व्रत रखने से जाने-अनजाने में हुए पाप खत्म हो जाते हैं। इस व्रत को करने से हर तरह की मनोकामना पूरी होती है।

प्रदोष व्रत (शुक्रवार, 13 मई) : वैशाख मास में पड़ने वाले प्रदोष व्रत को बहुत ही महत्वपूर्ण माना जाता है। नारद जी ने बताया कि वैशाख मास को ब्रह्माजी ने सब महीनों में उत्तम सिद्ध किया है। यह मास संपूर्ण देवताओं द्वारा पूजित है। इसलिए इस महीने में पड़ने वाले प्रदोष व्रत के प्रभाव से दाम्पत्य जीवन में सुख बढ़ता है। शरीरिक परेशानियां दूर हो जाती हैं।

नृसिंह प्राकट्योत्सव (शनिवार, 14 मई) : पद्म पुराण के मुताबिक वैशाख महीने के शुक्ल पक्ष की चतुर्दशी पर भगवान नरसिंह प्रकट हुए थे। ये भगवान विष्णु का चौथा अवतार था। इनका आधा शरीर सिंह और आधा इंसान का था। इन्होंने राक्षस हिरण्यकश्यप को मारकर भक्त प्रहलाद को बचाया था।

सूर्य संक्रांति (रविवार, 15 मई) : इस दिन सूर्य वृष राशि में आता है। इसलिए इसे वृष संक्रांति कहते हैं। इस पर्व पर स्नान, दान, व्रत और पूजा-पाठ का खास महत्व होता है। इस दिन सूर्योदय से पहले उठकर तीर्थ स्नान कर के सूर्य को अर्घ्य दिया जाता है। इस दिन पानी में तिल डालकर नहाने से बीमारियां दूर होती हैं और लंबी उम्र मिलती है।

वैशाख पूर्णिमा (सोमवार, 16 मई) : वैशाख महीने की पूर्णिमा पर ब्रह्मा जी ने तिल का निर्माण किया था। इसलिए उस दिन दोनों तरह के तिल यानी सफेद और काले तिल वाले जल से नहाना चाहिए। इस तिथि पर अग्नि में तिल की आहुति देना चाहिए। साथ ही इस पूर्णिमा पर तिल और शहद से भरा बर्तन दान दें। ऐसा करने से हर तरह के पाप, परेशानियां और दोष खत्म हो जाते हैं।

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16 मई 2022 को क्या है?

Panchang 16 May 2022 Monday: 16 मई 2022, दिन सोमवार , वैशाख मास, शुक्ल पक्ष, पूर्णिमा तिथि 09.43 बजे तक फिर प्रतिपदा, विशाखा नक्षत्र 13.18 तक फिर अनुराधा नक्षत्र की शुरुआत होगी. चंद्रमा तुला राशि तुला राशि में 7.54 बजे तक फिर वृश्चिक राशि व‍िराजमान रहेंगे और भगवान सूर्य वृष राशि में व‍िराजमान रहेंगे.

17 मई को कौन सा त्यौहार है?

ज्येष्ठ का महीना 17 मई से शुरू होकर 14 जून तक रहेगा. हिंदू धर्म में इस मास को बहुत ही विशेष माना गया है. इस मास में ही अपरा व निर्जला एकादशी, गंगा दशहरा, वट सावित्री व्रत आदि जैसे प्रमुख व्रत और त्योहार आते हैं. आज मंगलवार का दिन है.

19 मई को कौन सा त्यौहार है?

आज के व्रत त्योहार : श्री गणेश चतुर्थी व्रत। सूर्योदय का समय 19 मई 2022 : सुबह 05 बजकर 28 मिनट पर। सूर्यास्त का समय 19 मई 2022 : शाम 07 बजकर 7 मिनट पर।