प्रकाशन वर्ष के अनुसार निम्नलिखित कहानियों का सही अनुक्रम है:
Show Answer (Detailed Solution Below)Option 4 : एक टोकरी भर मिट्टी, उसने कहा था, राजा निरबंसिया, परिंदे Free Teaching Aptitude Mock Test 10 Questions 20 Marks 12 Mins उपर्युक्त कहानियों का अनुक्रम "एक टोकरी भर मिट्टी, उसने कहा था, राजा निरबंसिया, परिंदे" सही है तथा अन्य विकल्प असंगत हैं। Key Points
Mistake Pointsपरिंदे का लेखन वर्ष : 1956 परिंदे का प्रकाशन वर्ष : 1958/ 60 Additional Information
Last updated on Dec 17, 2022 University Grants Commission (Minimum Standards and Procedures for Award of Ph.D. Degree) Regulations, 2022 notified. As, per the new regulations, candidates with a 4 years Undergraduate degree with a minimum CGPA of 7.5 can enroll for PhD admissions. The notification for the 2023 cycle is expected to be out soon. The UGC NET CBT exam consists of two papers - Paper I and Paper II. Paper I consists of 50 questions and Paper II consists of 100 questions. By qualifying this exam, candidates will be deemed eligible for JRF and Assistant Professor posts in Universities and Institutes across the country. एक टोकरी भर मिट्टी का प्रमुख पात्र कौन सा है?Ek Tokri Bhar Mitti (Hindi Story) : Madhavrao Sapre. किसी श्रीमान जमीनदार के महल के पास एक गरीब अनाथ विधवा की झोंपड़ी थी। जमीनदार साहब को अपने महल का हाता उस झोंपड़ी तक बढ़ाने की इच्छा हुई। विधवा से बहुतेरा कहा कि अपनी झोंपड़ी हटा ले, पर वह तो कई जमाने से वहीं बसी थी।
एक टोकरी भर मिट्टी कहानी के लेखक का नाम क्या हैं?इस कहानी के लेखक पं. माधवराव सप्रे की 19 जून को 150वीं जयंती है. कथा पत्रिका सारिका के संपादक रहते हुए कथाकार कमलेश्वर ने हिंदी की पहली कहानी के रूप में 'एक टोकरी भर मिट्टी' को प्रस्थापित किया था. 1915 ई.
विधवा एक टोकरी मिट्टी का क्या करना चाहती थी?[ ६७ ]अब मैंने सोचा है कि इस झोंपड़ी में से एक टोकरी भर मिट्टी लेकर उसी का चूल्हा बनाकर रोटी पकाऊँगी। इससे भरोसा है कि वह रोटी खाने लगेगी। महाराज कृपा करके आज्ञा दीजिये तो इस टोकरी में मिट्टी ले जाऊँ।" श्रीमान ने आज्ञा दे दी। विधवा झोंपड़ी के भीतर गई।
एक टोकरी भर मिट्टी कहानी का प्रकाशन कब हुआ?सन् 1901 में प्रकाशित यह कहानी (एक टोकरी भर मिट्टी) कालक्रमानुसार भी हिन्दी की प्रथम मौलिक कहानी ठहरती है।
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