HomeHindi Literatureद्विवेदी युग के निबंधकार और उनकी रचना । Dwivedi Yug Ke Nibandhkar aur unki Rachna January 27, 2022 Show
द्विवेदी युग के निबंधकार और उनकी रचनाद्विवेदी युगीन लेखकों में आचार्य महावीर प्रसाद द्विवेदी, मिश्र बंधु, डॉ. श्याम सुंदरदास, डॉ. पद्म सिंह शर्मा, अध्यापक पूर्ण सिंह, चन्द्रधर शर्मा गुलेरी, बनारसी दास चतुर्वेदी आदि के नाम उल्लेखनीय हैं। सन् 1903 ई. से द्विवेदी युग का प्रारंभ हो गया। द्विवेदी युग के निबंधकार और उनकी रचनाआचार्य महावीर प्रसाद द्विवेदी
माधव प्रसाद मिश्र
गोविंद नारायण मिश्र
बाबू श्याम सुंदर दास
पद्म सिंह शर्मासमालोचना के जन्मदाता पद्मसिंह बाबू श्याम सुंदर दास के समकालीन थे। शर्मा जी के निबंधों के दो संग्रह पदमराग एवं प्रबंध मंजरी प्रकाशित हो चुके हैं। उन्होंने निबंधों में महापुरुषों के जीवन का चित्रण, समकालीन व्यक्तियों के संस्मरण या उनको श्रद्धांजलि साहित्य समीक्षा आदि विषयों को अपनाया है। उनकी शैली में वैयक्तिकता, भाषात्मकता एवं सरलता की प्रधानता थी। गणपति शर्मा को दी गई श्रद्धांजलि की कुछ पंक्तियां अवलोकनीय हैं-
अध्यापक पूर्ण सिंह
चन्द्रधर शर्मा गुलेरीगुलेरी ने कहानियों की तरह निबंध भी कम लिखे हैं किन्तु गुणवत्ता की दृष्टि से उनका बहुत अधिक महत्व है। उनके निबंधों में गंभीरता एवं प्रगतिशीलता का सुंदर समन्वय दिखलाई पड़ता है। उनकी शैली में सरलता, रोचकता, व्यंग्यात्मकता तथा सरसता का गुण अत्यधिक परिमाण में उपलब्ध होता है। उनका प्रमुख निबंध कछुआ धर्म है जिसकी कुछ पंक्तियां अवलोकनीय हैं-
द्विवेदी युग के प्रमुख लेखक कौन हैं?द्विवेदी-युग में राष्ट्रीय काव्य धारा के अंतर्गत प्रमुख कवि- मैथलीशरण गुप्त, नाथूराम शर्मा 'शंकर', गया प्रसाद शुक्ल 'सनेही', राम नरेश त्रिपाठी तथा राय देवीप्रसाद 'पूर्ण' आदि हैं। इन कवियों की रचनाओं में राष्ट्रीयता, स्वदेश प्रेम तथा भारत के अतीत गौरव का गान मिलता है।
द्विवेदी युग के कवि कौन है?द्विवेदी युग के प्रमुख कवि आचार्य महावीर प्रसाद द्विवेदी, मैथिली शरण गुप्त, पं. रामचरित उपाध्याय, पं. लोचन प्रसाद पांडेय, राय देवी प्रसाद 'पूर्ण', पं. नाथू राम शर्मा, पं.
द्विवेदी युग के दो निबंधकार कौन है?महावीर प्रसाद द्विवेदी, माधव प्रसाद मिश्र, अध्यापक पूर्णसिंह और चन्द्रधर शर्मा गुलेरी इस युग के प्रमुख निबन्धकार हैं। गोविन्द नारायण मिश्र, पद्मसिंह शर्मा और श्यामसुन्दरदास का नाम दूसरी श्रेणी में लिया जा सकता है। द्विवेदी-युग में महावीर प्रसाद द्विवेदी का नाम सबसे पहले आता है। अपने युग के यह आचार्य थे।
द्विवेदी युग का दूसरा नाम क्या है?नामकरण आचार्य महावीर प्रसाद द्विवेदी के नाम पर ही यह काल 'द्विवेदी युग' के नाम से जाना जाता है। इसे 'जागरण-सुधारकाल' भी कहा जाता है।
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