These Solutions are part of NCERT Solutions for Class 9 Hindi. Here we have given NCERT Solutions for Class 9 Hindi Kshitij Chapter 4 साँवले सपनों की याद प्रश्न-अभ्यास (पाठ्यपुस्तक से) प्रश्न 1. प्रश्न 2. प्रश्न 3. प्रश्न 4. (ख) आशय-सालिम अली अनूठे पक्षी प्रेमी थे। लेखक ने उनकी तुलना ऐसे पक्षी से की है जो अपने जीवन की लंबी यात्रा कर मौत की गोद में सो गया है। इस पक्षी (सालिम) को दूसरों के शरीर की गर्मी और दिल की धड़कन देकर भी जीवित नहीं किया जा सकता है। सालिम अली का सपना (पक्षी प्रेम) मौलिक था, किसी का दिया हुआ नहीं। यह पक्षी किसी की धड़कनों से जिंदा नहीं हो सकता है। अर्थात् उनके सामने कोई अन्य पक्षी प्रेमी इस तरह नहीं उत्पन्न किया जा सकता है। (ग) आशय-सालिम अली पक्षियों की खोज में किसी स्थान विशेष तक सीमित नहीं रहे। उन्होंने स्वयं को किसी सीमा में कैद नहीं किया। वे टापू की तरह नहीं, सागर की तरह खुले आचार-विचार और सोच वाले थे। वे पक्षी, प्रकृति और पर्यावरण के लिए कुछ भी करने को तैयार थे। प्रश्न 5.
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जटिल प्राणियों के लिए सालिम अली एक पहेली बने रहेंगे। प्रश्न 6. प्रश्न 7. रचना और अभिव्यक्ति प्रश्न 8.
Hope given NCERT Solutions for Class 9 Hindi Kshitij Chapter 4 are helpful to complete your homework. If you have any doubts, please comment below. NCERT-Solutions try to provide online tutoring for you. नैसर्गिक जीवन का प्रतिरूप 'आशय यह है कि मृत व्यक्ति को कोई जीवित नहीं कर सकता। हम चाहे कुछ भी कर लें पर उसमें कोई हरकत नहीं ला सकते।
ख लेखक ने सालिम अली को नैसर्गिक जिंदगी का प्रतिरूप क्यों कहा है?वो लारेंस की तरह, नैसर्गिक जिंदगी का प्रतिरूप बन गए थे। उत्तर:- अंग्रेजी के कवि लारेंस प्रकृति के प्रेमी थे। प्रकृति के प्रति उनके मन में जिज्ञासा थीं। उन्हीं की भाँति सलीम अली भी स्वयं को प्रकृति के लिए समर्पित कर चुके थे।
सालिम अली नैसर्गिक जिंदगी का प्रतिरूप बन गए थे कैसे?(क)वोलॉरेंसकीतरह,नैसर्गिकजिंदगीकाप्रतिरूपबनगएथे। (ख)कोईअपनेजिस्मकीहरारतऔरदिलकीधड़कनदेकरभीउसेलौटानाचाहेतोवह पक्षीअपनेसपनोंकेगीतदोबाराकैसेगासकेगा! (ग)सालिमअलीप्रकृतिकीदुनियामेंएकटापूबननेकीबजाएअथाहसागरबनकरउभरेथे।
सलीम अली की पत्नी का नाम क्या है?सलिम अली के प्रारंभिक सर्वेक्षणों में उनकी पत्नी तहमीना का साथ और समर्थन दोनों प्राप्त हुआ और एक मामूली सर्जरी के बाद 1939 में उनकी पत्नी की मृत्यु हो जाने के बाद वे एकदम टूट गए। 1939 में तहमीना की मृत्यु के बाद, सलिम अली अपनी बहन कम्मो और बहनोई के साथ रहने लगे।
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