बरगद का पौधा लगाने से क्या लाभ होता है? - baragad ka paudha lagaane se kya laabh hota hai?

वृक्षों की पूजा हमारे देश की समृद्ध परंपरा और जीवनशैली का अंग रहा है. वैसे तो हर पेड़-पौधे को उपयोगी जानकर उसकी रक्षा करने की परंपरा है. लेकिन वटवृक्ष या बरगद की पूजा का खास महत्व बताया गया है.

बरगद का धार्मिक महत्व
जहां तक धार्मिक महत्व की बात है, इस वृक्ष की बड़ी महिमा बताई गई है. वटवृक्ष के मूल में ब्रह्मा, मध्य में विष्णु व अग्रभाग में शिव का वास माना गया है. यह पेड़ लंबे समय तक अक्षय रहता है, इसलिए इसे 'अक्षयवट' भी कहते हैं. अखंड सौभाग्य और आरोग्य के लिए भी वटवृक्ष की पूजा की जाती है.

अक्षयवट के पत्ते पर ही प्रलय के अंत में भगवान श्रीकृष्ण ने मार्कण्डेय को दर्शन दिए थे. देवी सावित्री भी वटवृक्ष में निवास करती हैं. प्रयाग में गंगा के तट पर स्थि‍त अक्षयवट को तुलसीदासजी ने 'तीर्थराज का छत्र' कहा है. वटवृक्ष के नीचे सावित्री ने अपने पति को पुन: जीवित किया था. तब से यह व्रत ‘वट सावित्री’ के नाम से जाना जाता है.

सौभाग्य व सुख-शांति की प्राप्ति
ज्येष्ठ कृष्ण अमावस्या तिथि के दिन वटवृक्ष की पूजा का विधान है. शास्त्रों में कहा गया है कि इस दिन वटवृक्ष की पूजा से सौभाग्य व स्थायी धन और सुख-शांति की प्राप्ति होती है. संयोग की बात है कि इसी दिन शनि महाराज का जन्म हुआ. सावित्री ने यमराज से अपने पति सत्यवान के प्राण की रक्षा की.

चार तरह के वटवृक्ष
बरगद को वटवृक्ष भी कहा जाता है. सनातन धर्म में वट-सावत्री नाम का एक त्योहार पूरी तरह वट को ही समर्पित है. चार वटवृक्षों का महत्व अधिक बताया गया है. ये हैं- अक्षयवट, पंचवट, वंशीवट, गयावट और सिद्धवट. कहा जाता है कि इनकी प्राचीनता के बारे में कोई नहीं जानता.

भगवान शिव जैसे योगी भी वटवृक्ष के नीचे ही समाधि लगाकर तप साधना करते थे-

तहं पुनि संभु समुझिपन आसन।
बैठे वटतर, करि कमलासन।। (बालकांड/रामचरितमानस)

आयुर्वेद में बरगद का महत्व
कई तरह रोगों को दूर करने में बरगद के सभी भाग काम आते हैं. इसके फल, जड़, छाल, पत्ती आदि सभी भागों से कई तरह के रोगों का नाश होता है.

पर्यावरण की रक्षा में उपयोगी
वायुमंडल से कार्बन डाइऑक्साइड ग्रहण करने और ऑक्सीजन छोड़ने की भी इसकी क्षमता बेजोड़ है. यह हर तरह से लोगों को जीवन देता है. ऐसे में बरगद की पूजा का खास महत्व स्वाभाविक ही है.

बरगद का वृक्ष एक दीर्घजीवी विशाल वृक्ष है , हिन्दू परंपरा में इसे पूज्य माना जाता है. अलग अलग देवों से अलग अलग वृक्ष उत्पन्न हुए, उस समय यक्षों के राजा मणिभद्र से वटवृक्ष उत्पन्न हुआ. ऐसा मानते हैं इसके पूजन से और इसकी जड़ में जल देने से पुण्य प्राप्ति होती है. यह वृक्ष त्रिमूर्ति का प्रतीक है , इसकी छाल में विष्णु ,जड़ में ब्रह्मा और शाखाओं में शिव का वास माना जाता है. जिस प्रकार पीपल को विष्णु जी का प्रतीक माना जाता है , उसी प्रकार बरगद को शिव जी माना जाता है. यह प्रकृति के सृजन का प्रतीक है, इसलिए संतान के इच्छित लोग इसकी विशेष पूजा करते हैं. यह बहुत लम्बे समय तक जीवित रहता है , अतः इसे "अक्षयवट" भी कहा जाता है.  

बरगद के वृक्ष का वैज्ञानिक और अनोखा महत्व क्या है ?

- इसकी छाया सीधे मन पर असर डालती है , और मन को शांत बनाये रखती है

- अकाल में भी यह वृक्ष हरा भरा रहता है , अतः इस समय पशुओं को इसके पत्ते और लोगों को इसके फल पर निर्वाह करना सरल होता है

बरगद का पेड़ किस दिन लगाना चाहिए / बरगद का पेड़ घर में लगाना चाहिए या नहीं – पेड़ हमारे जीवन का आधार है. पेड़ हमारे जीवन से बहुत ही गहराई तक जुड़े हुए हैं. पेड़ मनुष्य जीवन को प्राणवायु देने का एक मात्र स्त्रोत हैं. हम हमारे घर के आसपास पेड़ पौधे लगाते रहते हैं. क्योंकि यह हमें शांति की अनुभूति कराते है और यह वातावरण के लिए भी लाभदायी हैं. लेकिन आज का हमारा यह आर्टिकल बरगद के पेड़ से जुड़ा हुआ हैं.

दोस्तों आज हम आपको इस आर्टिकल के माध्यम से बताने वाले है की बरगद का पेड़ किस दिन लगाना चाहिए. और बरगद का पेड़ लगाने से क्या लाभ होते हैं. तथा बरगद के पेड़ से जुडी काफी सारी बाते बताने वाले हैं.

बरगद का पौधा लगाने से क्या लाभ होता है? - baragad ka paudha lagaane se kya laabh hota hai?

तो आइये इस बारे में हम आपको अधिक जानकारी प्रदान करते हैं.

Table of Contents

  • बरगद का पेड़ किस दिन लगाना चाहिए
  • बरगद का पेड़ घर में लगाना चाहिए या नहीं
  • बरगद का पेड़ कहां लगाना चाहिए
  • बरगद का पेड़ के लाभ
  • बरगद का पेड़ कैसा होता है
  • अशोक का पेड़ किस दिशा में लगाना चाहिए
  • निष्कर्ष

बरगद का पेड़ किस दिन लगाना चाहिए

पेड़ हमें आक्सीजन देने का काम करते हैं. हमारे जीवन में पेड़ पौधों का कितना महत्व है यह तो हम सभी जानते ही हैं. पेड़ पौधों से ही यह प्रकृति चल रही हैं. अगर हमें प्रकृति को बचाना है. तो पेड़ पौधों को हमारे आसपास या कही पर भी लगाने चाहिए. अब प्रकृति को बचाने के लिए कोई भी दिन नहीं देखा जाता हैं.

अगर आप बरगद या अन्य कोई भी पेड़ लगाना चाहते है. तो किसी भी दिन लगा सकते हैं. इससे हमें फायदा ही होने वाला हैं. लेकिन बरगद का पेड़ लगाने से पहले हमने नीचे कुछ बातें लिखी उस पर भी ध्यान दे.

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बरगद का पेड़ घर में लगाना चाहिए या नहीं

ज्योतिष शास्त्र के अनुसार माना जाए तो बरगद का पेड़ घर में नहीं लगाना चाहिए. ऐसा माना जाता है. की घर में बरगद का पेड़ लगाने से एकांत और निर्जनता पैदा होती हैं. अगर आप बरगद का पेड़ लगाना चाहते है. तो घर के बाहर कही पर भी लगा सकते हैं. आप अपने घर के आसपास कही पर भी बरगद पेड़ लगा सकता हैं.

बरगद का पौधा लगाने से क्या लाभ होता है? - baragad ka paudha lagaane se kya laabh hota hai?

लेकिन एक बात का ध्यान रखे के घर की पूर्व दिशा में बरगद का पेड़ नहीं लगाना चाहिए. ज्योतिष शास्त्र के अनुसार यह अशुभ माना जाता हैं. इससे आपको स्वास्थ्य हानि हो सकती है. और आपकी प्रतिष्ठा में कमी आ सकती हैं.

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बरगद का पेड़ कहां लगाना चाहिए

बरगद का पेड़ आप कही पर भी लगा सकते हैं. सिर्फ आपके घर में और आपके घर की पूर्व दिशा में बरगद का पेड़ लगाना अशुभ माना जाता हैं.

बरगद का पेड़ के लाभ

बरगद का पेड़ औषधीय गुणों से भरपूर होता हैं. इसके कुछ स्वास्थ्य लाभ भी है. जो हमने नीचे बताए हैं.

  • अगर आपको जोड़ो का दर्द है. तो बरगद के पत्तो को सेंककर उसमें तेल लगाकर जोड़ो पर बांधने से फायदा होता हैं.
  • अगर किसी को खुजली की समस्या है. तो बरगद के पत्तो को पीसकर उसका लेप बना के खुजली वाली जगह पर लगाने से फायदा होता हैं.
  • अगर किसी का पूरा शरीर दर्द कर रहा है. तो बरगद के पेड़ की छाल को उबालकर पी ने से फायदा होता हैं.
  • बरगद के पत्तो को पीसकर त्वचा पर लगाने से त्वचा रोग ठीक हो जाता हैं.

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बरगद का पेड़ कैसा होता है

बरगद का पेड़ बहुत ही विशाल और शाखाओं से भरा हुआ होता हैं. यह पेड़ छायादार और लंबे समय तक जीवित रहने वाला होता हैं. हमने अधिक जानकारी के लिए बरगद के पेड़ की तस्वीर नीचे दी हैं.

बरगद का पौधा लगाने से क्या लाभ होता है? - baragad ka paudha lagaane se kya laabh hota hai?

अशोक का पेड़ किस दिशा में लगाना चाहिए

घर में अशोक का पेड़ लगाना बहुत ही शुभ माना जाता हैं. अगर आप अशोक का पेड़ घर की उत्तर दिशा में लगाते है. तो आपके घर में हमेशा सकारात्मक ऊर्जा बनी रहती हैं. और घर में सुख-शांति का वातावरण बना रहता हैं.

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निष्कर्ष

दोस्तों आज हमने आपको इस आर्टिकल के माध्यम से बरगद का पेड़ किस दिन लगाना चाहिए इस बारे जानकारी प्रदान की हैं. तथा बरगद के पेड़ के लाभ भी आपको बताए हैं. आपके घर में और आपके घर की पूर्व दिशा में बरगद का पेड़ लगाना अशुभ माना जाता हैं. हम उम्मीद करते है की यह आर्टिकल आप के लिए उपयोगी साबित हुआ होगा.

दोस्तों हम आशा करते है की आपको हमारा यह बरगद का पेड़ किस दिन लगाना चाहिए / बरगद का पेड़ कहां लगाना चाहिए आर्टिकल अच्छा लगा होगा. धन्यवाद

बरगद का पेड़ घर के सामने लगाने से क्या होता है?

घर की पूर्व दिशा की ओर पीपल और बरगद के वृक्ष लगाने शुभ नहीं होते। इनसे स्वास्थ्य हानि, प्रतिष्ठा में कमी एवं अपकीर्ति के संकेत मिलते हैं।

बरगद के पेड़ लगाने से क्या होता है?

बरगद के पेड़ के सभी भागों (जड़, तना, पत्तियां, फल और छाल) को औषधीय उपयोग में लाया जाता है। इसमें मौजूद एंटीऑक्सीडेंट (सूजन घटाने वाला) और एंटी-माइक्रोबियल (बैक्टीरिया को नष्ट करने वाला) प्रभाव के कारण इसे दांतों में सड़न और मसूड़ों में सूजन की समस्या को कम करने में सहायक माना गया है (1)।

बड़ का पेड़ लगाने से घर में क्या होता है?

बरगद के पेड़ को अपने घर आंगन में लगाना शुभ माना जाता है, तो आप बे ज़िज़क बरगद को घर के पास लगा सकते है। इस से शुभ फल की प्राप्ति होती है। अपने घर के पास अगर बरगद के पेड़ को लगाना हो तो उत्तर दिशा की और लगाना चाहिए क्यों की धार्मिक मान्यता के अनुसार बरगद के पेड़ के लिए उत्तर दिशा बहोत शुभ होती है।

बरगद की जड़ लगाने से क्या होता है?

पौराणिक मान्यताओं के अनुसार वट वृक्ष की जड़ से कर्जमुक्ति होती है। देवताओं में ब्रह्मा का वास वट वृक्ष में माना गया है इसलिए इससे ब्रह्मा की कृपा भी प्राप्त होती है। इसकी जड़ धारण करने से ना केवल मानसिक शांति और विचारों की शुद्धता प्राप्त होती है बल्कि दिमाग केंद्रित भी होता है।